
सांकेतिक तस्वीर
Pakistani Hindu Girl Forced Conversion: पाकिस्तान के सिंध प्रांत में एक दर्दनाक लेकिन उम्मीद जगाने वाला मामला सामने आया है। तीन महीने पहले मीरपुरखास जिले के कुनरी शहर से किडनैप की गई हिंदू लड़की सुनीता कुमारी महाराज को आखिरकार अपने परिवार से मिलने की इजाज़त मिल गई है। शनिवार को उमरकोट की निचली अदालत ने यह आदेश दिया। यह फैसला हिंदू समुदाय के एक्टिविस्ट शिवा काची के प्रयासों से संभव हुआ, जो सुनीता के माता-पिता की ओर से केस लड़ रहे थे।
रिपोर्ट्स के मुताबिक, सुनीता को अगवा करने के बाद जबरन धर्म परिवर्तन कराया गया और उसकी शादी उससे कई साल बड़े एक मुस्लिम व्यक्ति से कर दी गई थी। तीन महीने तक उसे मानसिक और शारीरिक अत्याचार सहने पड़े। हालांकि, लंबे कानूनी संघर्ष और सामाजिक दबाव के बाद अदालत ने आखिरकार उसे अपने परिवार के पास लौटने का आदेश दिया।
उमरकोट के वकील चंदर कोहली ने बताया कि सुनीता का मामला कोई अलग घटना नहीं है। सिंध के कई हिस्सों में हिंदू लड़कियों के अपहरण, जबरन धर्म परिवर्तन और जबरन शादी की घटनाएं आम होती जा रही हैं। उन्होंने कहा, यह हमारे समुदाय के लिए एक बड़ी त्रासदी बन चुकी है। गरीब परिवारों की बेटियों को निशाना बनाया जाता है, क्योंकि उनके पास कानूनी लड़ाई लड़ने के लिए न तो साधन होते हैं, न जानकारी।
कोहली ने यह भी कहा कि आरोपियों द्वारा अक्सर झूठे दस्तावेज दिखाकर शादी को स्वेच्छा से साबित करने की कोशिश की जाती है। कई बार अदालतें भी इन दस्तावेजों के आधार पर पीड़िताओं को इंसाफ देने में देरी करती हैं। इस स्थिति को बदलने के लिए अब स्थानीय हिंदू नेता पढ़े-लिखे युवाओं को समुदाय की मदद के लिए आगे आने का आह्वान कर रहे हैं।
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हाल ही में एक और ऐसा मामला सामने आया था, जब 15 वर्षीय हिंदू लड़की को कथित तौर पर अगवा कर रेप किया गया, धर्म परिवर्तन कराया गया और एक बुजुर्ग मुस्लिम व्यक्ति से जबरन शादी कर दी गई। पीड़िता ने अक्टूबर में मीरपुरखास सेशंस कोर्ट में पेश होकर अपने परिवार के पास लौटने की गुहार लगाई थी। अदालत ने अंतिम फैसले तक उसे सुरक्षित स्थान पर रखने का निर्देश दिया।






