डोनाल्ड ट्रम्प और अयातुल्ला अली खामेनेई, फोटो (सो.सोशल मीडिया)
वांशिगटन: अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रम्प ने ईरान को सख्त चेतावनी देते हुए कहा कि अगर ईरान ने फिर से अपना परमाणु कार्यक्रम शुरू किया, तो अमेरिका न केवल नए प्रतिबंध लगाने से हिचकेगा, बल्कि सैन्य कार्रवाई का विकल्प भी खुला रखेगा। ट्रम्प ने यहां तक संकेत दिया कि आवश्यकता पड़ने पर अमेरिका ईरान के परमाणु सुविधाओं को निशाना बनाने से भी पीछे नहीं हटेगा। ईरान के सर्वोच्च नेता अयातुल्ला खामेनेई ने अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रम्प को “धमकी देने वाला” करार देते हुए कहा कि ईरानी लोग “धौंस में नहीं आएंगे” और वे “किसी भी टकराव के लिए तैयार हैं।”
ट्रम्प के विवादास्पद बयानों से स्पष्ट होता है कि उन्होंने खामेनेई को “बुरी तरह हराया” साथ ही उन्हें सच बोलने की चुनौती दी और दावा किया कि उन्होंने ईरान पर हमला होने से रोका।
ट्रंप ने खामेनेई की अमेरिका को चेतावनी पर व्यंग्य कसते हुए कहा कि उनका इजरायल पर विजय का दावा वास्तविकता से बहुत दूर है। एक प्रेस वार्ता और सोशल मीडिया पर पोस्ट किए गए बयान में ट्रंप ने कहा कि खामेनेई के बयान उस स्थिति के बिल्कुल विपरीत हैं, जो 12 दिनों तक इज़रायल के हमलों और अमेरिका द्वारा तीन प्रमुख परमाणु साइटों पर की गई बमबारी के बाद उत्पन्न हुई है।
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वहीं, अमेरिकी रक्षा खुफिया एजेंसी की एक रिपोर्ट के अनुसार, ईरान का परमाणु कार्यक्रम अमेरिकी हमलों की वजह से महज कुछ समय तक ही प्रभावित हुआ है। इस रिपोर्ट के सार्वजनिक होने के बाद राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप और उनके सलाहकारों ने इसकी कड़ी आलोचना की है।
एक सोशल मीडिया पोस्ट में, अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने दावा किया कि इजरायल के प्रधानमंत्री बेंजामिन नेतन्याहू की सरकार ने गाजा युद्ध के शुरुआती दौर में ईरान के सर्वोच्च नेता अयातुल्लाह खामेनेई की हत्या की योजना व्हाइट हाउस को सौंपी थी। हालांकि, ट्रंप ने इस योजना को रोक दिया, जिसकी पुष्टि एक अमेरिकी अधिकारी ने गोपनीय तौर पर की। यह बयान इस ओर इशारा करता है कि ईरान, अमेरिका और इजरायल के बीच मौजूदा तनाव और बढ़ सकता है, भले ही अभी सैन्य संघर्ष पर विराम लगा हो।