तुलसी विवाह के दिन इन वस्तुओं के दान का है बड़ा महत्व
ज्योतिषयों के अनुसार, तुलसी विवाह के पर्व पर वस्त्र और आभूषण का दान करना चाहिए। मान्यता है कि इससे साधक को लाभ की प्राप्ति होती है।
हिंदू धर्म में तुलसी विवाह के पर्व को बहुत ही शुभ एवं खास माना जाता है। माना जाता है कि इस दिन बेटी की कामना रखने वाले लोगों को तुलसी माता को अपनी बेटी मान कर उनका कन्या दान करना चाहिए। इसे जीवन का सबसे बड़ा दान माना गया है।
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तुलसी विवाह पर देवउठनी एकादशी का व्रत भी रखा जाता है। ऐसे में आप धान, गेहूं, मक्का, बाजरा और उड़द का दान आदि कर सकते हैं। इससे पितरों की कृपा बनी रहती है।
मान्यताओं के अनुसार तुलसी विवाह के दिन गुड़ का दान करना चाहिए। इससे जीवन में सुख-समृद्धि का वास होता है।
इस दिन आप भगवान विष्णु की पूजा करें और पीले वस्त्र का दान करें। इससे भगवान विष्णु की कृपा प्राप्त होती है।
ज्योतिष बताते है कि, तुलसी विवाह के दिन सिंघाड़ा, शकरकंदी और सभी मौसमी फलों का दान करना चाहिए। इससे भगवान विष्णु और मां लक्ष्मी की कृपा प्राप्त होती है।
जानिए हिन्दू धर्म में तुलसी का क्या है महत्व
हिन्दू धर्म में तुलसी के पौधे का बड़ा महत्व होता हैं। धार्मिक रूप से इसका खास महत्व हैं। तुलसी माता को मां लक्ष्मी का ही स्वरूप माना जाता है, जिनका विवाह शालीग्राम भगवान से हुआ था। शालीग्राम दरअसल, भगवान विष्णु के आठवें अवतार श्रीकृष्ण का ही रूप मानें जाते हैं। देवउठनी या देवोत्थान एकादशी के दिन ही भगवान विष्णु चार महीने के बाद जागते हैं।
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तुलसी जी को विष्णु प्रिया भी कहा जाता है, इसलिए देव जब उठते हैं तो हरि वल्लभा तुलसी की प्रार्थना ही सुनते हैं। देवउठनी एकादशी के दिन तुलसी जी का विवाह शालिग्राम से की जाती है। अगर किसी व्यक्ति को कन्या नहीं है और वह जीवन में कन्या दान का सुख प्राप्त करना चाहता है तो वह तुलसी विवाह कर प्राप्त कर सकता है।