राधाकृष्ण विखे पाटील (सौ. सोशल मीडिया )
Pune News In Hindi: महाराष्ट्र के जल संसाधन मंत्री और मराठा आरक्षण उप समिति के अध्यक्ष राधाकृष्ण विखे पाटिल ने नाशिक में मुख्यमंत्री देवेंद्र फडणवीस की आलोचना करने पर वरिष्ठ नेता शरद पवार पर पलटवार किया है। उन्होंने तंज कसते हुए कहा कि शरद पवार को यह नहीं बताना चाहिए कि किसे क्या करना चाहिए और क्या नहीं।
अब कुछ लोगों को जनता द्वारा सेवानिवृत्त किए जाने के बजाय खुद ही सेवानिवृत्त हो जाना चाहिए। विखे पाटिल ने मराठा आरक्षण के मुद्दे पर भी शरद पवार की आलोचना की। उन्होंने कहा कि शरद पवार ने मराठा समाज को आरक्षण से वंचित रखने का ‘पाप’ किया है। उन्होंने अपने कार्यकाल के दौरान मराठा समुदाय को आरक्षण नहीं दिया। अब उन्हें इसका प्रायश्चित करना चाहिए और दूसरों को सलाह देना बंद कर देना चाहिए।
विखे पाटिल ने ये बातें ‘सारथी’ संस्था की योजनाओं की समीक्षा बैठक के बाद पत्रकारों से बात करते हुए कहीं। बैठक में उन्होंने सारथी द्वारा दी जाने वाली विभिन्न छात्रवृत्तियों और योजनाओं की जानकारी ली। दरअसल, 15 सितंबर को नाशिक में एनसीपी द्वारा किसानों के मुद्दों पर एक ‘किसान आक्रोश मार्च’ आयोजित किया गया था। इस दौरान शरद पवार ने मुख्यमंत्री फडणवीस पर कटाक्ष करते हुए कहा था कि नेपाल में पिछले 8 दिनों में क्या हुआ, उसे देखिए। सयरकार चली गई और एक महिला ने सत्ता संभाली। मैं गहराई में नहीं जा रहा हूं, लेकिन मुझे उम्मीद है कि फडणवीस और उनके साथी इससे कुछ सीखेंगे।
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महाराष्ट्र के जल संसाधन मंत्री राधाकृष्ण विखे पाटिल ने जानकारी दी है कि कृष्णा-भीमा स्थिरीकरण परियोजना के पहले चरण के तहत पंचगंगा नदी के पानी को राधानगरी डैम से दुधगंगा नदी तक ले जाने की योजना है। इस काम के लिए एक सुरंग बनानी होगी, जिसमें लगभग 1600 करोड़ रुपये का खर्च आने की उम्मीद है। मंत्री ने बताया कि बाढ़ के 65 अरब क्यूबिक फीट पानी को एक बड़ी सुरंग के जरिए भीमा नदी में लाने का एक और प्रस्ताव है जो काफी महंगा होगा। इस परियोजना के लिए केंद्र सरकार और विभिन्न बैंकों जैसे विश्व बैंक, नाबार्ड और एशियाई विकास बैंक से वित्तीय सहायता प्राप्त करने पर विचार किया जा रहा है।