
विधानसभा में 16 विधेयक पारित (सौजन्यः सोशल मीडिया)
Nagpur Winter Session: सात दिनों तक चले महाराष्ट्र विधानमंडल के शीतकालीन सत्र का समापन रविवार को हुआ। दोनों सदनों में घोषणा की गई कि अगला अधिवेशन 23 फरवरी से मुंबई में आयोजित किया जाएगा। शीत सत्र के दौरान विधानसभा में महत्वपूर्ण विधायी कार्य संपन्न हुए।
इस दौरान कुल 18 शासकीय विधेयक विधानसभा में प्रस्तुत किए गए, जिनमें से 16 विधेयकों को पारित किया गया। वहीं, विधान परिषद द्वारा 4 सरकारी विधेयक भी पारित किए गए। इसके अलावा 6 अध्यादेश सदन के पटल पर रखे गए। सत्र के अंतिम दिन अंतिम सप्ताह प्रस्ताव पर भी चर्चा की गई।
प्रश्नोत्तर और चर्चाओं से संबंधित आंकड़े इस प्रकार रहे। सदस्यों द्वारा कुल 7,286 तारांकित प्रश्न प्राप्त हुए, जिनमें से 215 स्वीकृत किए गए, जबकि केवल 27 प्रश्नों के उत्तर दिए जा सके। सार्वजनिक महत्व की 160 सूचनाएं प्राप्त हुईं, जिनमें से 69 मान्य की गईं और उन पर 3 बार चर्चा हुई। ध्यानाकर्षण सूचनाओं की कुल संख्या 1,867 रही, जिनमें से 299 स्वीकृत की गईं और 70 पर चर्चा हुई। नियम 293 के तहत प्राप्त दोनों सूचनाओं को मान्य कर उन पर चर्चा की गई। सदन में कुल 12 शोक प्रस्ताव भी प्रस्तुत किए गए।
इस अधिवेशन की एक उल्लेखनीय घटना यह रही कि बंकिमचंद्र चट्टोपाध्याय द्वारा रचित ‘वंदे मातरम्’ गीत के 7 नवंबर 2025 को 150 वर्ष पूर्ण होने के ऐतिहासिक अवसर पर सभागृह में पूरे गीत का सामूहिक गायन किया गया। सत्र के दौरान सदस्यों की अधिकतम उपस्थिति 90.98 प्रतिशत और न्यूनतम 43.85 प्रतिशत दर्ज की गई, जबकि सदन की कुल औसत उपस्थिति 75.94 प्रतिशत रही।
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8 दिसंबर से उपराजधानी नागपुर में शुरू हुए शीतकालीन अधिवेशन के दौरान विधानसभा से 16 विधेयक विधान परिषद में मंजूरी के लिए आए, जिनमें से 14 विधेयक पारित किए गए और 2 विधेयक पुनर्विचार एवं संशोधन के लिए निचले सदन को वापस भेजे गए। विधान परिषद में सदस्यों की कुल उपस्थिति 88.68 प्रतिशत रही, जबकि औसत उपस्थिति 75.47 प्रतिशत दर्ज की गई। कुल 7 बैठकें आयोजित हुईं और 3 शोक प्रस्ताव प्रस्तुत किए गए। इस दौरान 1,900 तारांकित प्रश्न रखे गए, जिनमें से 280 स्वीकृत हुए। 472 ध्यानाकर्षण प्रस्तावों में से 97 को मान्य किया गया और 25 पर चर्चा हुई। इसके अलावा 110 औचित्य के मुद्दे प्रस्तुत किए गए, जिनमें से 87 स्वीकार किए गए।






