
गायिका से एक्ट्रेस बनीं पद्मिनी
Padmini Kolhapure Birthday Special Story: बॉलीवुड की दिग्गज एक्ट्रेस पद्मिनी कोल्हापुरे का जन्म 1 नवंबर 1965 को मुंबई में हुआ था। पद्मिनी कोल्हापुरे आज अपना 60वां जन्मदिन मना रही हैं। पद्मिनी का बचपन संगीत के माहौल में बीता। उनके पिता पंढरीनाथ कोल्हापुरे प्रसिद्ध शास्त्रीय गायक और वीणा वादक थे, जिससे उन्हें कला की विरासत मिली।
बचपन से ही संगीत की शिक्षा लेने वाली पद्मिनी ने फिल्मों में आने से पहले कई फिल्मों में कोरस सिंगर के रूप में काम किया। उन्होंने अपनी बहन शिवांगी कोल्हापुरे के साथ ‘यादों की बारात’ और ‘किताब’ जैसी फिल्मों में आवाज दी। महज 10 साल की उम्र में उन्होंने देवानंद की फिल्म ‘इश्क इश्क इश्क’ से अभिनय की शुरुआत की और जल्द ही ‘सत्यम शिवम सुंदरम’ में जीनत अमान के बचपन की भूमिका से सबका ध्यान खींचा।
उनके करियर का असली मोड़ आया 1980 में रिलीज़ हुई फिल्म ‘इंसाफ का तराजू’ से। इस फिल्म में उनके दमदार अभिनय के लिए उन्हें फिल्मफेयर बेस्ट सपोर्टिंग एक्ट्रेस का अवॉर्ड मिला। अगले ही साल, राज कपूर ने उन्हें अपनी फिल्म ‘प्रेम रोग’ में बतौर लीड एक्ट्रेस साइन किया। यह फिल्म उनके जीवन की सबसे बड़ी सफलता साबित हुई।
‘प्रेम रोग’ में पद्मिनी ने एक ऐसी विधवा लड़की का किरदार निभाया, जो समाज की परंपराओं से जूझती है। उनके संवेदनशील अभिनय ने दर्शकों को भावुक कर दिया। फिल्म की रिलीज़ के बाद वे सिर्फ 17 साल की उम्र में फिल्मफेयर बेस्ट एक्ट्रेस अवॉर्ड जीतकर इतिहास रच गईं। वह उस समय हिंदी सिनेमा की सबसे कम उम्र की अवॉर्ड विजेता बनीं।
इसके बाद पद्मिनी ने ‘प्यार झुकता नहीं’, ‘विधाता’, ‘वो सात दिन’, ‘स्वर्ग से सुंदर’ और ‘आहिस्ता-आहिस्ता’ जैसी सफल फिल्मों में काम किया। उनकी जोड़ी मिथुन चक्रवर्ती, जितेंद्र, ऋषि कपूर, और राजेश खन्ना जैसे दिग्गजों के साथ खूब पसंद की गई। साल 1986 में फिल्म ‘ऐसा प्यार कहां’ के दौरान उन्हें निर्माता प्रदीप शर्मा से प्यार हो गया। परिवार की मंजूरी न मिलने पर दोनों ने भागकर शादी की।
शादी के बाद भी पद्मिनी ने फिल्मों में काम जारी रखा। उनका बेटा प्रियांक शर्मा अब बॉलीवुड में कदम रख चुका है। अपनी मर्यादित छवि के लिए जानी जाने वाली पद्मिनी ने कभी बोल्ड सीन नहीं किए। ‘प्रेम रोग’ में जब राज कपूर ने किसिंग सीन का सुझाव दिया, तो उन्होंने मना कर दिया, लेकिन फिल्म फिर भी सुपरहिट रही। आज पद्मिनी भले ही फिल्मों में कम दिखती हों, मगर उनका नाम अब भी हिंदी सिनेमा की सबसे सशक्त एक्ट्रेसेस में शुमार है।






