इशाक डार और एस जयशंकर, फोटो (सो. सोशल मीडिया)
बीजिंग: पाकिस्तान के उप प्रधानमंत्री और विदेश मंत्री इशाक डार ने मंगलवार को कहा कि उनका देश अपने सभी पड़ोसी देशों, विशेष रूप से भारत के साथ शांतिपूर्ण और स्थिर संबंधों का इच्छुक है। यह बयान तब आया जब भारत के विदेश मंत्री एस. जयशंकर ने कश्मीर के पहलगाम में हुए आतंकी हमले पर पाकिस्तान को कड़ी फटकार लगाई। जयशंकर ने कहा कि आतंकवाद, अलगाववाद और कट्टरपंथ आज के सबसे गंभीर खतरे हैं। इसके जवाब में डार ने हमले में पाकिस्तान की किसी भी भूमिका से साफ इंकार किया।
शंघाई सहयोग संगठन (SCO) की विदेश मंत्रियों की बैठक में चीन के तिआनजिन शहर में बोलते हुए डार ने कहा कि बीते तीन महीनों में दक्षिण एशिया में हालात काफी चिंताजनक रहे हैं। उन्होंने भारत पर आरोप लगाया कि उसने बिना ठोस जांच और सबूत के पहलगाम हमले के लिए पाकिस्तान को दोषी ठहराया। डार के मुताबिक, ऐसे आरोपों से दोनों परमाणु संपन्न देशों के बीच तनाव और टकराव की स्थिति पैदा हो गई।
जबकि पता है कि भारत ने अप्रैल में हुए पहलगाम हमले के लिए पाकिस्तान में मौजूद आतंकियों को जिम्मेदार ठहराया था, जिसमें 26 आम नागरिक मारे गए थे। इसके जवाब में भारत ने मई में “ऑपरेशन सिंदूर” चलाया, जिसमें पाकिस्तान और पाकिस्तान के कब्जे वाले कश्मीर में आतंकी ठिकानों को निशाना बनाया गया।
पाकिस्तान के उपप्रधानमंत्री इशाक डार ने कहा कि उनका देश संघर्षविराम के समझौते का पालन करने को तैयार है। उन्होंने याद दिलाया कि भारत और पाकिस्तान के बीच 10 मई को ड्रोन और मिसाइल हमलों के चार दिन बाद संघर्षविराम पर सहमति बनी थी। डार ने बातचीत की जरूरत पर जोर देते हुए कहा, “हमारा मानना है कि विवादों को सुलझाने के लिए संवाद और कूटनीति ही रास्ता है, न कि युद्ध या दबाव।”
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भारत पहले ही स्पष्ट कर चुका है कि पाकिस्तान से किसी भी प्रकार की बातचीत केवल आतंकवाद के मुद्दे पर ही हो सकती है। भारत का कहना है कि पाकिस्तान लगातार भारत विरोधी आतंकी गतिविधियों को प्रोत्साहन देता रहा है, इसलिए अन्य मुद्दों पर बातचीत का कोई आधार नहीं बनता।
वहीं, दूसरी तरफ पाकिस्तान के विदेश मंत्री इशाक डार ने मंगलवार को बीजिंग में चीन के राष्ट्रपति शी जिनपिंग के साथ एक संयुक्त बैठक में हिस्सा लिया। इस दौरान उन्होंने इस्लामाबाद की ओर से चीन के साथ स्थायी मित्रता को मजबूत करने और साझा क्षेत्रीय लक्ष्यों को आगे बढ़ाने की प्रतिबद्धता जताई। डार शंघाई सहयोग संगठन (SCO) के 10 सदस्य देशों के उन विदेश मंत्रियों और स्थायी निकाय प्रमुखों में शामिल थे।
एससीओ एक यूरेशियाई राजनीतिक और सुरक्षा संगठन है, जिसमें कुल 10 देश शामिल हैं भारत, चीन, रूस, ईरान, पाकिस्तान, कजाकिस्तान, किर्गिस्तान, ताजिकिस्तान, उज्बेकिस्तान और बेलारूस। इस समय संगठन की अध्यक्षता चीन के पास है।