
यवतमाल न्यूज
Yavatmal Municipal Election: यवतमाल जिले की 10 नगर परिषद और एक नगर पंचायत के लिए 2 हजार से अधिक इच्छुकों ने उम्मीदवारी आवेदन दाखिल किए थे। लेकिन शुक्रवार को नामांकन वापस लेने के आखरी दिन तकरीबन 168 इच्छुकों ने अपने आवेदन वापस ले लिए। इनमें सबसे अधिक पुसद नगरपालिका से 37 उम्मीदवार शामिल हैं।
2 दिसंबर को होने वाले नगरपालिका चुनावों को लेकर राजनीतिक वातावरण पूरी तरह गर्म है। कुल 293 नगरसेवक और 11 नगराध्यक्ष पदों के लिए यह चुनाव होने जा रहा है। नगराध्यक्ष पद के लिए 188 और नगरसेवक पद के लिए 2173 इच्छुकों ने नामांकन भरे थे। जिले में नामांकन की छननी पूरी होने के बाद बुधवार से नामांकन वापस लेने की प्रक्रिया शुरू हुई थी।
शुक्रवार को इसकी अंतिम तिथि थी। चुनाव विभाग के अनुसार, कुल 168 उम्मीदवारों ने नाम वापस ले लिया, जिनमें नगरसेवक पद के 149 और नगराध्यक्ष पद के 19 उम्मीदवार शामिल हैं। इसके बाद अब नगराध्यक्ष पद के 169 तथा नगरसेवक पद के 2024 उम्मीदवार चुनावी मैदान में बचे हैं।
इससे 11 पालिकाओं की चुनावी लड़ाइयों का चित्र लगभग स्पष्ट हो चुका है। कई जगह भाजपा बनाम कांग्रेस, कहीं भाजपा बनाम शिंदे गुट, तो कुछ जगहों पर शिंदे गुट बनाम उबाठा जैसी सीधी टक्कर दिख रही है। 26 नवंबर को चुनाव चिन्ह वितरित होने के बाद आधिकारिक प्रचार शुरू होगा।
यहां 3 सदस्य पद और 1 अध्यक्ष पद कुल 4 उम्मीदवारों ने नाम वापस लिया। अब अध्यक्ष पद के लिए 6 और सदस्य पद के लिए 90 उम्मीदवार चुनावी मैदान में हैं। इनमें प्रभाग एक के जालिंधर सुरमवाड और प्रभाग दो से शे. इरफान. शे. गुलाब व प्रभाग 6 से खिरे सरस्वती दिगंबर ने पार्षद पद से अपना नामांकन वापस लिया है। वहीं नगराध्यक्ष पद के लिए निर्दलीय उम्मीदवारी दाखिल करनेवाले सूर्यकांत विनकरे ने नामांकन वापस लिया है।
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नगराध्यक्ष पद से पीछे हटने वालों में अधिकांश निर्दलीय उम्मीदवार शामिल हैं। लेकिन घाटंजी नगरपालिका में बड़ी राजनीतिक हलचल देखने को मिली, जहां वंचित बहुजन आघाड़ी के उम्मीदवार ने अचानक नाम वापस ले लिया। संघपाल कांबले के नामांकन वापसी की पूरे दिन भर चर्चा रही। अब वंचित के उम्मीदवार की अनुपस्थिति में किस पक्ष को अतिरिक्त लाभ मिलता है, इस पर सभी की नजरें टिकी हैं।






