सदन दोपहर 2 बजे तक स्थगित (फोटो सोर्स- सोशल मीडिया)
Today Parliament Aadjournment: संसद में आज की कार्यवाही प्रारंभ होते ही स्थगित हो गई। दरअसल दोनों सदनों में ही शुरूआत में ही बहस इतनी तेज हुई कि मजबूरन सदन को स्थगित करना पड़ा।
संसद प्रारंभ होने के साथ ही लोकसभा व राज्यसभा में विपक्षी दलों के सांसदों ने एक बार फिर से जमकर नारेबाजी और हंगामा किया। विपक्ष का मुख्य मुद्दा सांसद मतदाता सूची व चुनावी लोकतंत्र संबंधी विषयों से जुड़ा था।
इन्हीं मुद्दों पर चर्चा के दौरान विपक्ष की मांग जोरदार हंगामे में बदल गई। विपक्ष की यह खास मांग थी कि, सदन के अन्य सभी विषयों को स्थगित करके सबसे पहले उनके द्वारा पेश किए गए मुद्दों पर चर्चा की जाए।
लेकिन, राज्यसभा के उपसभापति ने पहले से तय नियमों का हवाला दिया और विपक्ष को अनुमति नहीं मिली। अनुमति न मिलने पर सदन में हंगामा हुआ और सदन की कार्यवाही स्थगित करनी पड़ी।
राज्यसभा के उपसभापति ने सोमवार को सदन के भीतर बताया कि, उन्हें विभिन्न सांसदों ने नियम 267 के तहत चर्चा के 19 नोटिस दिए हैं। नियम 267 के अंतर्गत यह प्रावधान है कि, सदन के अन्य सभी कार्यों को स्थगित कर चर्चा कराई जाती है। इस चर्चा के उपरांत वोटिंग भी हो सकती है।
सदन में हंगामा बढ़ता देख उप उपसभापति ने सदन की कार्यवाही दोपहर 2 बजे तक के लिए स्थगित कर दी। उधर लोकसभा में कार्यवाही शुरू होने के तुरंत बाद ही हंगामा शुरू हो गया। विपक्षी सांसद अपने स्थानों से उठकर वेल में आ गए और उन्होंने लगातार नारेबाजी की।
सदन में हंगामे के बीच कुछ देर प्रश्नकाल चला लेकिन हंगामा बढ़ता देख लोकसभा अध्यक्ष ने सदन की कार्यवाही को 2 बजे तक के लिए स्थगित कर दिया।
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सोमवार को राज्यसभा में इंडियन पोर्ट बिल आना है। केंद्रीय मंत्री सर्वानंद सोनोवाल यह विधेयक सदन में रखेंगे। इसका उद्देश्य बंदरगाहों से संबंधित कानूनों का एकीकरण करना, एकीकृत बंदरगाह विकास को प्रोत्साहन देना, व्यापार सुगमता को बढ़ावा देना तथा भारत की समुद्री तटरेखा का सर्वोत्तम उपयोग सुनिश्चित करना है।
साथ ही प्रमुख बंदरगाहों के अतिरिक्त अन्य छोटे बंदरगाहों के प्रभावी प्रबंधन हेतु राज्य समुद्री बोर्डों की स्थापना और उन्हें सशक्त बनाना है।
(एजेंसी इनपुट)