गलत इंजेक्शन से युवक की मौत (pic credit; social media)
Maharashtra News: मीरा-भाईंदर महानगरपालिका क्षेत्र में फर्जी डॉक्टरों और संदिग्ध क्लीनिकों का मामला गंभीर रूप ले चुका है। भाईंदर पश्चिम के उत्तन, पाली चौक, डोंगरी और तरोड़ी गांव में बिना डिग्री और अनुमति के चल रहे कथित डॉक्टरों के क्लीनिक लोगों की जान के लिए खतरा बन गए हैं। बीते सप्ताह हुए एक दर्दनाक हादसे ने नागरिकों के आक्रोश को और भड़का दिया है।
स्थानीय लोगों ने आरोप लगाया है कि 32 वर्षीय युवक की मौत गलत इंजेक्शन लगाने से हुई है। इस घटना ने पूरे इलाके में भय और अविश्वास का माहौल पैदा कर दिया है। नागरिकों का कहना है कि प्रशासन की लापरवाही और जांच की कमी से ऐसे फर्जी क्लीनिक खुलेआम फल-फूल रहे हैं।
मनसे के मीरा-भाईंदर शहर प्रमुख संदीप राणे और पूर्व नगरसेविका शर्मिला बगाजी ने उत्तन सागरी पुलिस को ज्ञापन सौंपकर दोषी डॉक्टर के खिलाफ सख्त कार्रवाई की मांग की है। उन्होंने चेतावनी दी है कि यदि तुरंत कार्रवाई नहीं हुई तो आंदोलन किया जाएगा।
वहीं पूर्व सभापति व नगरसेवक बर्नाड डिमेलो ने भी महानगरपालिका आयुक्त राधाविनोद शर्मा को पत्र लिखकर तत्काल कार्रवाई की मांग की है। उन्होंने कहा कि उत्तन, पाली चौक, डोंगरी और तरोड़ी के सभी क्लीनिक, अस्पतालों और धर्मार्थ संस्थाओं की गहन जांच होनी चाहिए।
यदि किसी भी स्थान पर फर्जी डॉक्टर या अवैध क्लीनिक पाए जाते हैं तो उन्हें तुरंत बंद किया जाए और दोषियों पर कठोर कार्रवाई हो। फिलहाल इस घटना को लेकर स्थानीय नागरिकों में गुस्सा चरम पर है और लोग प्रशासन से त्वरित व ठोस कदम उठाने की मांग कर रहे हैं।