
चिचडोह डैम (सौजन्य-नवभारत)
Gadchiroli News: गड़चिरोली जिले की चामोर्शी तहसील के चिचडोह बैरेज के दरवाजे बंद कर जलभंडारण का नियोजन जलसंपदा विभाग द्वारा किया गया है। इसके लिये 25 अक्टूबर से सभी दरवाजे द्वारसंचलन कार्यक्रम अनुसार क्रम से बंद किये जाएंगे। जिससे नदी तट और नदी आए उपननदी व नालों में जलभराव होकर नदी का जलस्तर बढ़ेगा।
वैनगंगा नदी पर चामोर्शी तहसील मुख्यालय से 5 किमी दूरी पर चिचडोह बैरेंज का निर्माण जून 2018 में पूर्ण हुआ है। उक्त बैरेज मार्कंडा देवस्थान से वैनगंगा नदी के उपरी हिस्से में 4 किमी दूरी पर है। इस बैरेज में 23 अक्टूबर तक जलस्तर 175.39 मीटर है। बढ़े हुए जलस्तर से जीवित व वित्त हानि न हो, इसलिये परिसर के सभी गांवों में ग्रापं सूचित करें।
वहीं नदी परिसर के खेतों में काम करते समय सतर्क रहने, मछुआरे व पशुपालक नदी पार न करें, रेत घाट से रेत निकालने और नदी तट पर अन्य कार्य करने वाले लोग सतर्कता बरते, ऐसा आह्वान जिला प्रशासन द्वारा किया गया है। ताकि किसी भी अप्रिय घटना से बचा जा सके।
गड़चिरोली जिले के कुरूड, रामपुर, विसापुर, निमगांव, खोर्दा, हिवरगांव, तलोधी मोकासा, कुनघाडा, नवेगांव (रै.), आमगांव माल, दर्शनी माल, येवली, मार्कंडा, घारगांव, फराडा, डोटकुली, डोंगरगांव (बु.), शिवणी, मुडझा (बु.), पुलखल और चंद्रपुर जिले के हरांबा, कढोली, उमरी, काजलवाही, डोनाला माल, डोनाला चक, वढोलीको गांडली, वढोली चक, पेडगांव, सोनापुर, सामदा, वाघोली बुटी, व्याहाड (बु.), लोंढोली, उसेगांव, कापसी, ऊपरी इन गांवों का समावेश है।
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प्रशासन द्वारा जारी प्रेस विज्ञप्ति में कहा गया कि जलस्तर में वृद्धि होने के कारण जीवित व वित्त हानि न हो, इसलिये नदी तट के सभी गांवों के नागरिक उक्त कालावधि में नदी तट पर जाना टाले, वहीं नदी तट के खेतों में काम करते समय उचित सतर्कता बरते, मार्कडा देवस्थान में वाले, मछुआरे, नदी तट से रेत निकालने वाले और नदी से आवागमन करने वाले नागरिक विशेष सतर्कता बरतकर प्रशासन सहयोग करें, ऐसा आहवान गड़चिरोली पाटबंधारे विभाग के कार्यकारी अभियंता राहुल मोरघडे ने किया है।






