'सातबारा कोरा' यात्रा शुरू (सौजन्यः सोशल मीडिया)
अमरावती: किसानों को सातबारा कोरा करना ही है, इस संकल्प के साथ हजारों किसानों ने भारी बारिश के बावजूद प्रहार जनशक्ति पार्टी के अध्यक्ष और पूर्व राज्य मंत्री बच्चू कडू के नेतृत्व में पापल से ‘7/12 कोरा कोरा’ यात्रा शुरू की। सुबह से जारी लगातार बारिश के बावजूद सैकड़ों किसान इस यात्रा में शामिल हुए। यह यात्रा सोमवार को सुबह 10 बजे देश के पहले कृषि मंत्री डॉ. पंजाबराव देशमुख की जन्मस्थली नांदगांव खंडेश्वर तालुका के पापल से शुरू हुई।
यह यात्रा उंबरदा बाजार, मानकी, वलसा, तिवारी, तुपटाकाली, काली दौलत, गुंज जैसे गांवों से होकर गुजरेगी और 14 जुलाई को चिलगव्हान (यवतमाल जिला) में स्वर्गीय साहेबराव करपे के स्मारक स्थल पर एक जनसभा के साथ समाप्त होगी। इस मार्च में बड़ी संख्या में किसान, महिलाएं, युवा और प्रहार कार्यकर्ता शामिल हुए। मार्च के दौरान प्रदर्शनकारी किसानों ने सीधे तौर पर सरकार और खासकर मुख्यमंत्री देवेंद्र फडणवीस की आलोचना की।
७/१२ कोरा यात्रेचे यवतमाळ जिल्ह्यात आगमन…
लोही ता. दारव्हा जि. यवतमाळ येथे गावकरी मंडळी मार्फत जोरदार स्वागत…
दिवस दुसरा pic.twitter.com/RZE6yrVHSR— BACCHU KADU (@RealBacchuKadu) July 8, 2025
सरकार ने लड़की बहन योजना शुरू करते समय बिना कोई समिति बनाए जल्दबाजी में निर्णय ले लिया, तो फिर कर्ज माफी और 7/12 कोटा के लिए समिति क्यों? किसानों ने सीधे तौर पर सरकार से 7/12 कोटा के बारे में घोषणा करने को कहा। हमें सरकार की हमदर्दी नहीं चाहिए, हमें अपना हक चाहिए। प्रदर्शनकारियों ने यह भी चेतावनी दी कि अगर सातबारा को खाली नहीं किया गया तो हम सड़कों पर उतरेंगे।
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बच्चू कडू ने किसी को भी वोट देने की अपील की है, लेकिन कर्जमाफी के लिए एकजुट हो जाओ और आज महाराष्ट्र के किसान जाति, पंथ, धर्म और राजनीतिक विचारों को किनारे करके एकजुट हो गए हैं। बच्चू कडू ने दृढ़ संकल्प व्यक्त किया है कि जब तक सरकार कर्जमाफी पर फैसला नहीं सुनाती, तब तक वे नहीं रुकेंगे। भारी बारिश के बीच 138 किलोमीटर की यह पदयात्रा चल रही है।
14 जुलाई को चिलगव्हाण में दिवंगत किसान साहेबराव करपे के स्मारक स्थल पर एक आमसभा के साथ यह यात्रा समाप्त होगी। इस यात्रा में बड़ी संख्या में किसान, महिलाएं, युवा और प्रहार कार्यकर्ता शामिल हुए हैं। बता दें कि कुछ दिन पूर्व ही पूर्व राज्यमंत्री बच्चू कडू ने गुरुकुंज मोजरी में बेमियादी अन्नत्याग आंदोलन किया था। नांदगांव पेठ में राष्ट्रीय महामार्ग पर, अचलपुर में चांदूर बाजार नाके पर तथा धामणगांव रेलवे शहर में चक्का जाम आंदोलन किया गया था।