
अमिताभ बच्चन (फोटो-सोर्स,सोशल मीडिया)
मुंबई: बॉलीवुड के दिग्गज अभिनेता अमिताभ बच्चन और प्रकाश मेहरा की जोड़ी ने हिंदी सिनेमा को कई यादगार फिल्में दीं, जिनमें से ‘शराबी’ (1984) उनकी आखिरी सुपरहिट फिल्म साबित हुई। इसके बाद आई फिल्म ‘जादूगर’ बॉक्स ऑफिस पर फ्लॉप रही और इसके साथ ही दोनों के बीच बातचीत भी खत्म हो गई। लेकिन ‘शराबी’ में एक बार फिर अमिताभ, प्रकाश मेहरा और अभिनेता प्राण की तिकड़ी ने कमाल किया। यह वही प्राण थे जिन्होंने फिल्म ‘जंजीर’ में अमिताभ के नाम की सिफारिश की थी।
दरअसल, 18 मई 1984 को रिलीज हुई फिल्म ‘शराबी’ अंग्रेजी फिल्म ‘ऑर्थर’ से प्रेरित थी। इसकी खास बात यह रही कि इस फिल्म की मूल कहानी 35,000 फीट की ऊंचाई पर अटलांटिक महासागर के ऊपर गढ़ी गई थी। खुद अमिताभ बच्चन ने इस बात का जिक्र करते हुए बताया था कि 1983 में जब वे अमेरिका और लंदन में वर्ल्ड टूर कर रहे थे, उस दौरान न्यूयॉर्क से त्रिनिदाद और टोबैगो की फ्लाइट में प्रकाश मेहरा ने उन्हें बाप-बेटे के रिश्ते पर आधारित एक कहानी सुनाई। इसमें बेटा शराबी होता है, लेकिन दिल से नेक इंसान।
फिल्म की शूटिंग के वक्त घायल हुए थे अभिनेता
फिल्म की शूटिंग के दौरान अमिताभ एक हादसे में घायल हो गए थे। उन्होंने लिखा, “मेरे हाथ में दीवाली का पटाखा फट गया था, पूरा हाथ झुलस गया था, लेकिन मैंने न शूटिंग रोकी और न किसी को परेशान किया। हाथ ऐसा लग रहा था जैसे तंदूरी चिकन हो, फिर भी मैंने अपना काम जारी रखा।” शायद यही वजह है कि फिल्म के कई दृश्यों में अमिताभ अपना एक हाथ पैंट में डाले नजर आते हैं।
अमिताभ ने फिल्म के कई सीक्वेंस खुद निर्देशित किए
अमिताभ ने फिल्म के एक एक्शन सीन की कोरियोग्राफी भी खुद की थी। उन्होंने बताया, “बार में जब मैं बदमाशों से भिड़ता हूं, वो फाइट सीक्वेंस मैंने खुद निर्देशित किया था।” ‘शराबी’ हिंदी सिनेमा की पहली ऐसी फिल्म थी जिसकी शूटिंग सिंक साउंड में की गई थी।
ये भी पढें- Ceasefire उल्लंघन पर फूटा अली गोनी का गुस्सा, कहा- ‘मेरे परिवार की सलामती से बढ़कर कुछ नहीं’
आपको बता दें, प्रकाश मेहरा, अमिताभ की अदाकारी से इतने प्रभावित हुए थे कि उन्होंने उन्हें ‘एक गुनाह और सही’ नामक फिल्म निर्देशित करने का प्रस्ताव दिया था। लेकिन 1984 में इंदिरा गांधी की हत्या के बाद अमिताभ राजनीति में चले गए और यह प्रोजेक्ट ठंडे बस्ते में चला गया।






