मंदाकिनी (फोटो-सोशल मीडिया)
मुंबई: बॉलीवुड की दुनिया जितनी बाहर से चमचमाती नजर आती है, अंदर से उतनी ही पेचीदा और कठोर भी हो सकती है। 1985 में राज कपूर की फिल्म ‘राम तेरी गंगा मैली’ से मशहूर हुईं एक्ट्रेस मंदाकिनी ने अब इंडस्ट्री के उस कड़वे सच से पर्दा उठाया है, जिससे शायद ही दर्शक वाकिफ हों। एक पुराने इंटरव्यू में मंदाकिनी ने 1980 और 90 के दशक के दौर को याद करते हुए बताया कि उस समय मेल एक्टर्स का इंडस्ट्री पर पूरा दबदबा हुआ करता था।
मंदाकिनी ने साफ कहा कि फिल्मों में किस हीरोइन को लिया जाएगा, यह अक्सर हीरो की पसंद-नापसंद से तय होता था। अगर किसी एक्टर को कोई एक्ट्रेस नहीं पसंद आती थी, तो प्रोड्यूसर-डायरेक्टर उनकी बात मानकर तुरंत बदलाव कर देते थे। मंदाकिनी ने खुद स्वीकार किया कि उनके साथ दो बार ऐसा हुआ, जब उन्हें सिर्फ इसलिए किसी फिल्म से बाहर कर दिया गया क्योंकि हीरो को उनके साथ काम करना पसंद नहीं था।
मंदाकिनी ने यह बात बिना किसी गुस्से या शिकायत के बेहद शांत लहजे में कही, लेकिन उनके शब्दों में उस दौर की बेबसी झलक रही थी। एक और घटना साझा करते हुए उन्होंने बताया कि एक फिल्म के लिए उन्हें चुना गया था, स्क्रिप्ट भी सुना दी गई थी और बात लगभग तय थी। लेकिन अचानक उन्हें बाहर कर दिया गया और किसी दूसरी एक्ट्रेस को साइन कर लिया गया।
वजह पूछने पर पता चला कि मंदाकिनी जहां 1 लाख रुपये चार्ज कर रही थीं, वहीं दूसरी एक्ट्रेस 75 हजार में मान गई। मंदाकिनी का ये खुलासा आज भी इंडस्ट्री में मौजूद शक्ति असंतुलन की ओर इशारा करता है। जहां हीरो की पसंद-नापसंद एक हीरोइन का करियर बना या बिगाड़ सकती थी। बावजूद इसके मंदाकिनी ने अपने संघर्ष, आत्मविश्वास और प्रतिभा के बल पर एक पहचान बनाई, जो आज भी याद की जाती है।
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मंदाकिनी ने 1985 में फिल्म राम तेरी गंगा मैली से डेब्यू किया था। यह फिल्म बॉक्स ऑफिस पर बड़ी हिट रही और मंदाकिनी को पहचान मिली। इसके बाद उन्होंने मिथुन चक्रवर्ती के साथ डांस डांस और गोविंदा के साथ प्यार करके देखो जैसी फिल्मों में काम किया। 1996 में फिल्म जोरदार के बाद, मंदाकिनी ने बॉलीवुड छोड़ दिया। अब वह सोशल मीडिया पर काफी एक्टिव रहती हैं।
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