ममता कुलकर्णी का महामंडलेश्वर पद से इस्तीफे के बाद दावा, 25 साल से साध्वी हूं और हमेशा रहूंगी
Mamta Kulkarni Resignation: ममता कुलकर्णी ने किन्नर अखाड़े के महामंडलेश्वर पद से इस्तीफा दे दिया है और इस्तीफा देते वक्त उन्होंने यह दावा किया है कि वह 25 साल से साध्वी हैं और हमेशा साध्वी बनी रहेगी। उन्होंने कहा, मां चंडी के इशारे की वजह से वह महामंडलेश्वर पद से इस्तीफा दे रही हैं। आपको बता दें कि कुछ दिनों पहले ही उन्हें किन्नर अखाड़े का महामंडलेश्वर बनाया गया था, लेकिन उनके विवादों में घिरने के बाद उन्हें किन्नर अखाड़े के महामंडलेश्वर पद से निष्कासित कर दिया गया था।
महाकुंभ में ममता कुलकर्णी चर्चा में बनी रही, उन्होंने इस दौरान प्रयागराज पहुंचकर आस्था की डुबकी लगाई थी, तो उन्हें किन्नर अखाड़े का महामंडलेश्वर बना दिया गया। किन्नर अखाड़े की महामंडलेश्वर रही लक्ष्मी नारायण त्रिपाठी ने ममता कुलकर्णी को अखाड़े का महामंडलेश्वर बनाया था। लेकिन अखाड़े के संस्थापक अजय दास ने एक विज्ञप्ति जारी करके यह दावा किया कि उन्हें बिना संज्ञान में लिए गए ममता कुलकर्णी को महामंडलेश्वर की उपाधि से नवाजा गया है। ऐसे में उन्होंने मामला विवादों में घिरते देख ममता कुलकर्णी को इस पद से निष्कासित कर दिया था।
ये भी पढ़ें- अदालत में पेश हुए सोनू सूद, Rikeza Coin मामले में दी गवाही, जानें क्या है मामला
सोमवार को इस्तीफा देने के साथ ही ममता कुलकर्णी ने यह ऐलान किया है कि वह किन्नर अखाड़े की महामंडलेश्वर पोस्ट से इस्तीफा दे रही हैं, आज किन्नर अखाड़े या बाकी अखाड़े के बीच में जो मुझे लेकर महामंडलेश्वर की उपाधि घोषित करने के बीच जो प्रॉब्लम हो रही है, उसके लिए मैंने इस्तीफा दिया है। मैं एक साध्वी 25 साल से हूं और साध्वी रहूंगी। उन्होंने यह भी कहा कि मुझे यह पदवी दिया जाना आपत्तिजनक हो गया। मैं 25 साल तपस्या की है। मैंने बॉलीवुड को तब छोड़ा था, जब मेरा करियर चरम पर था। मैंने आध्यात्म के लिए बॉलीवुड को छोड़ा है, वरना ऐसे वक्त में अपने करियर का त्याग कौन करता है। इतना ही नहीं उन्होंने यह भी कहा मां चंडी के इशारे की वजह से मैंने यह पद त्यागा है।