वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ( सौजन्य : सोशल मीडिया )
नई दिल्ली : केंद्र सरकार ने कुछ दिनों पहले ही सरकारी कर्मचारियों के लिए नई पेंशन योजना का ऐलान किया है। इस नई पेंशन योजना को यूनिफाइड पेंशन स्कीम का नाम दिया है। सरकार ने बताया है कि केंद्र सरकार इस योजना को 1 अप्रैल 2025 से लागू करने वाली है। लेकिन अब विपक्ष ने इस योजना को लेकर सरकार को घेरने की तैयारी कर ली है। विपक्ष के द्वारा लगाए हुए आरोपों का जवाब देते हुए वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने मंगलवार को बयान दिया है।
आपको बता दें कि विपक्ष दल की पार्टी कांग्रेस ने इस योजना को लेकर कुछ भ्रामक दावे किए है, जिसे सिरे से नकारते हुए वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने जवाब देते हुए कहा है कि हाल ही में पेश की गई एकीकृत पेंशन योजना (यूपीएस) एक नई योजना है और यह कोई पलटी मारने वाला कदम नहीं है। उन्होंने कहा, ‘‘यह कोई पलटी मारने वाला कदम नहीं है। यह ओपीएस (पुरानी पेंशन योजना) और एनपीएस (राष्ट्रीय पेंशन प्रणाली) से अलग है। यह स्पष्ट रूप से एक नया पैकेज है।”
उन्होंने कहा कि हाल ही में घोषित यूपीएस बेहतर पेंशन योजना है और इससे ज्यादातर सरकारी कर्मचारी संतुष्ट हो पाएंगे। सीतारमण ने कहा कि यूपीएस को इस तरह तैयार किया गया है कि यह हर गणना में उपयुक्त बैठती है और सरकार पर भी ज्यादा बोझ नहीं पड़ता है। उन्होंने उम्मीद जताई कि अधिकांश राज्य यूपीएस को अपनाएंगे क्योंकि इसमें कर्मचारियों के लिए बहुत सारे लाभ हैं। केंद्रीय मंत्रिमंडल ने पिछले हफ्ते सरकारी कर्मचारियों के लिए एकीकृत पेंशन योजना लाने की मंजूरी दी थी।
केंद्र सरकार ने 24 अगस्त 2024 को यूनिफाइड पेंशन योजना का ऐलान कर दिया है। आपको बता दें कि सरकार की योजना 1 अप्रैल 2025 से लागू होने वाली है। सरकारी कर्मचारियों के योगदान के आधार पर इस पेंशन योजना के अंतर्गत पेंशन की राशि तय की जाएगी। आपको इस योजना के तहत निश्चित रुप से पेंशन मिलेगी। साथ ही अगर किसी कर्मचारी की मौत हो जाती है, तो उसकी मौत के बाद उसके परिवार को भी पेंशन मिल सकती है। जिन सरकारी कर्मचारियों ने 10 साल या 25 साल से कम समय तक सर्विस दी है, उन्हें न्यूनतम सैलरी के रुप में 10,000 रुपये महीने के दिए जा सकते है।
( एजेंसी इनपुट के साथ )