शहबाज शरीफ (सोर्स- सोशल मीडिया)
Afghan-Pak Conflict: पाकिस्तान को अफगानिस्तान के साथ हालिया संघर्ष में करारी हार का सामना करना पड़ा। हालांकि अब दोनों देशों ने 48 घंटे के लिए सीजफायर हो गया है। इसी बीच पाकिस्तान के प्रधानमंत्री शहबाज शरीफ ने तालिबान के साथ हुए सीजफायर को लेकर अपनी प्रतिक्रिया दी। उन्होंने कहा अब फैसला तालिबान को करना है।
उन्होंने स्पष्ट किया कि पाकिस्तान शांति के लिए तैयार है, बशर्ते अफगानिस्तान तय समय में मुद्दे सुलझाए और पाकिस्तान की मांगों को माने। प्रधानमंत्री ने दोहराया कि पाकिस्तानी तालिबान (TTP) के आतंकियों का पूरी तरह सफाया जरूरी है। इसके अलावा, अफगानी जमीन का उपयोग पाकिस्तान पर हमले या साजिश के लिए नहीं होना चाहिए। पाकिस्तान चाहता है कि अफगान सरकार इस दिशा में सख्त कदम उठाए।
शहबाज शरीफ ने कहा कि स्थायी युद्धविराम के लिए विश्वास, समन्वय और प्रभावी सीमा नियंत्रण जरूरी है। उन्होंने अफगानिस्तान से साझा प्रयास की अपील की ताकि भविष्य में आतंक और हिंसा को पूरी तरह रोका जा सके। अफगानिस्तान और पाकिस्तान के बीच संघर्ष में अब तक दोनों तरफ मिलाकर 300 सैनिकों की मौत हो चुकी है।
पाकिस्तान और अफगानिस्तान के बीच तनाव उस समय और गहरा गया जब बुधवार, 15 अक्टूबर 2025 को एक ही सप्ताह में दूसरी बार सीमा पर झड़पों की खबरें सामने आईं। इन झड़पों में दर्जनों नागरिकों और सैनिकों की जान चली गई, जबकि सैकड़ों लोग घायल हुए। हालात बिगड़ने के बाद दोनों देशों ने 48 घंटे के युद्धविराम पर सहमति जताई और इसकी औपचारिक घोषणा भी की गई।
इससे पहले, अफगानिस्तान में स्थित संयुक्त राष्ट्र मिशन ने दावा किया कि कंधार प्रांत के स्पिन बोलदक इलाके में पाकिस्तानी सेना के हमले में कम से कम 17 लोगों की मौत हो गई और 300 से ज्यादा लोग घायल हुए हैं।
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इस पूरे तनाव का मुख्य कारण पाकिस्तान द्वारा लगाए गए वे आरोप हैं, जिनमें कहा गया है कि अफगानिस्तान तहरीक-ए-तालिबान पाकिस्तान (टीटीपी) और अन्य आतंकी संगठनों के लिए एक सुरक्षित पनाहगाह बन गया है। पाकिस्तान का कहना है कि ये संगठन अफगान धरती से उसके खिलाफ हमलों की योजना बनाते हैं। हालांकि, अफगानिस्तान ने इन आरोपों को सिरे से खारिज कर दिया है।