मौनी अमावस्या 2025 (सौ.सोशल मीडिया)
Mauni Amavasya 2025: हिंदू धर्म के अनुसार आज यानि 29 जनवरी को मौनी अमावस्या का व्रत रखा जा रहा है वहीं पर इस खास मौके पर आज महाकुंभ का दूसरा अमृत स्नान भी है। मौनी अमावस्या के दिन स्नान और दान के साथ मौन व्रत रखने के नियम होते है जिसका पालन करना चाहिए। मौनी अमावस्या पर कितने घंटों का मौन रखना चाहिए और नहीं इसके बारे में आज हम इस लेख में जानेंगे। यहां पर मौनी अमावस्या के दिन आत्मा को शुद्ध करने की मान्यता मानी जाती है। चलिए मौनी अमावस्या पर कितने घंटे का रखना होता है मौन व्रत…
महाकुंभ में मौनी अमावस्या का अलग महत्व होता है इसमें ही मानसिक शांति और ध्यान बढ़ाने के लिए मौन व्रत रखा जाता है। इसके अलावा मौनी अमावस्या को खासकर आत्म-अवलोकन और आत्मशुद्धि के रूप में जाना जाता है। यहां पर शास्त्रों के अनुसार यह भी कहते है कि, मौनी अमावस्या के दिन 24 घंटे तक मौन व्रत करना चाहिए, लेकिन अगर यह संभव न हो तो सुबह स्नान के बाद 1.25 घंटे तक भी व्रत रखा जा सकता है।
यहां पर मौन व्रत रखने के नियम होते है जिनकी जानकारी हर किसी को नहीं होती चलिए जान लेते है।
1- सबसे पहले अमावस्या के दिन जातक को सुबह उठना होगा और नित्य कार्य कर गंगा या किसी पवित्र नदी में स्नान करना होगा। अगर नदी में स्नान संभव न हो तो घर पर ही स्नान के बाद गंगाजल को अपने ऊपर छिड़क लें और फिर स्वच्छ कपड़े पहनें।
2- स्नान के बाद भगवान की पूजा-पाठ करें और मौन रहने का संकल्प लें। संकल्प लेने के बाद भगवान विष्णु, शिव या सूर्य देव का ध्यान करें।
3- इस दिन उपवास करना बेहद फलदायी है, ऐसे में उपवास के दौरान फल, दूध और हल्का भोजन किया जा सकता है। जल का सेवन करें, लेकिन तामसिक भोजन और अनावश्यक वस्तुओं से बचें।
4- मौन व्रत के दौरान कोशिश करें कि किसी शांत स्थान पर बैठकर ध्यान करें और ‘ॐ’ मंत्र का जप करें।
5- इस दिन दान करना भी पुण्य माना गया है, इसलिए गरीब और जरूरतमंदों को भोजन, वस्त्र और धन जरूर दान करें।
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6- इस व्रत के दौरान किसी भी प्रकार की बातचीत, झगड़ा या वाद-विवाद से बचें। दिनभर सकारात्मक सोच बनाए रखें और नकारात्मक विचारों को अपने पर हावी न होने दे। साथ ही व्रत के दौरान क्रोध, ईर्स्या और लालच जैसी भावनाओं से बचें।