Sanjay Raut Claim Maha Vikas Aghadi Government Fell Because Of Sachin Waze Encounter Specialist
सचिन वाझे के कारण गिरी आघाड़ी सरकार! शरद पवार को पहले ही किया था अलर्ट, संजय राऊत का बड़ा बयान
संजय राऊत ने कहा कि वाझे के कारण ही महाविकास आघाड़ी सरकार गिरी थी। शरदस पवार ने अगर दोबारा वाझे को पुलिस सेवा में नहीं लिया होता तो हमें इतनी मुश्किलें नहीं सहनी पड़ती।
मुंबई: शरद पवार की राकां के अजीत पवार की राकां के साथ विलय के संकेतों से विपक्षी गठबंधन महाविकास आघाडी (मविआ) में शामिल अन्य दलों में बेचैनी बढ़ गई है। मविआ में शामिल पूर्व मुख्यमंत्री उद्धव ठाकरे की शिवसेना के सांसद व प्रवक्ता संजय राऊत के बयानों से कुछ ऐसे ही संकेत मिल रहे हैं।
शरद पवार की पार्टी के अजीत के माध्यम से सत्तारूढ़ महायुति में शामिल होने की संभावनाओं को देखते हुए राऊत विवादित पूर्व एनकाउंटर स्पेशलिस्ट सचिन वाझे की पुलिस सेवा में वापसी का ठीकरा शरद पवार पर फोड़ने का प्रयास किया है। राऊत ने कहा कि वाझे के कारण ही महाविकास आघाडी सरकार गिरी थी। यदि वाझे को दोबारा पुलिस सेवा में नहीं लिया गया होता तो उद्धव ठाकरे के नेतृत्ववाली मविआ सरकार को कटु अनुभवों का सामना नहीं करना पड़ा होता।
शरद पवार को दी थी सलाह
अपनी पुस्तक नरकात ले स्वर्ग के प्रकाशन के कारण सुर्खियों में आए राऊत ने एक साक्षात्कार के दौरान कहा है कि मैं सचिन वाझे को बहुत अच्छी तरह से जानता था। इसलिए व्यक्तिगत तौर पर मेरा मानना है कि उन्हें पुलिस सेवा में पुनः नहीं रखा जाना चाहिए। वाझे को दोबारा नौकरी पर रखने से रोकने के लिए मैं खुद शरद पवार से मिला था। मैंने पवार से स्पष्ट रूप से कहा था कि वाझे को दोबारा नौकरी पर रखना समस्याओं का सबब बन सकता है। लेकिन उससे पहले ही निर्णय ले लिया गया था। सपा के महाराष्ट्र प्रदेश अध्यक्ष अबू आजमी इसके गवाह हैं। राऊत ने कहा कि पुलिस आयुक्त या पुलिस के किसी बड़े अधिकारी की सिफारिश के बगैर वाझे को पुलिस सेवा में दोबारा शामिल नहीं किया जा सकता था।
क्या किया था वाझे ने?
मशहूर उद्योगपति मुकेश अंबानी के निवास ‘अंटालिया’ के पास स्कार्पिओ कार में मिले विस्फोटकों के तार सचिन वाझे से जुड़े थे। उक्त कार जिस मनसुख हिरेन नामक शख्स की थी, उसकी बाद में हत्या कर दी गई। उक्त मामले में वाझे जेल में है। इस पूरे प्रकरण की वजह से तत्कालीन गृह मंत्री अनिल देशमुख पर वाझे के जरिए बार मालिकों से हर महीने 100 करोड़ रुपए की वसूली करवाने का आरोप लगा था। मविआ सरकार की काफी किरकिरी हुई थी।
वाझे को दोबारा नौकरी पर रखना गलत था
समाजवादी पार्टी महाराष्ट्र प्रदेश अध्यक्ष अबू आसिम आजमी ने बताया कि जब सचिन वाझे को फिर से नौकरी पर रखे जाने की खबर आई तो मैंने संजय राऊत से मुलाकात की थी। मैने कहा था कि यह बहुत बड़ा अन्याय है। ख्वाजा यूनुस की हत्या का मामला उनके खिलाफ अभी भी चल रहा है। मैंने उनसे कहा कि इस स्थिति में उन्हें दोबारा नौकरी पर रखना गलत होगा। शरद पवार ने भी कहा था कि हम वाझे को नौकरी पर नहीं रखेंगे। लेकिन कुछ दिनों के बाद वाझे को सेवा में ले लिया गया।
तत्कालीन पुलिस आयुक्त परमबीर सिंह ने मुझे फोन करके मुझे वाझे को नौकरी पर रखने का विरोध करने से मना किया था। परमबीर सिंह ने यह भी कहा था कि हम ख्वाजा यूनुस की मां की मदद करेंगे। जब देवेंद्र फडणवीस मुख्यमंत्री थे, तब भी वाझे को काम पर रखने के बारे में विचार किया जा रहा था। लेकिन तब उन्हें काम पर नहीं रखा गया था।
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