खडकवासला डैम (सौ. सोशल मीडिया )
Pune News In Hindi: खड़कवासला डैम से नदी में 39 हजार से ज्यादा क्यूसेक पानी छोड़ा गया, इसके कारण एकतानगर की सोसायटियों में फिर से पानी घुस गया था। इसी वजह से एकतानगर के पुनर्विकास का मुद्दा फिर से गर्मा गया है।
पिछले वर्ष सिंहगढ़ रोड स्थित एकतानगर की नीली रेखा (बाढ़ रेखा) के भीतर कराए गए निमर्माण कार्यों के पुनर्वसन की घोषणा तत्कालीन मुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे ने की थी। इसी के तहत विठ्ठलवाड़ी (हिंगणे खुर्द) स्थित प्रस्तावित सिंहगढ़ रोड पुलिस थाने के पीछे महापालिका की जमीन पर पुनर्वसन योजना का प्रस्ताव राज्य सरकार को भेजा गया था।
लेकिन सरकार की ओर से आदेश नहीं मिलने के कारण एक वर्ष बीतने के बाद भी पुनर्वसन का मामला कागजों में ही सिमटा है। इसे लेकर महापालिका और पदाधिकारियों के बीच खींचतान जारी है। पुणे शहर और खड़कवासला डैम के कैचमेंट एरिया में हुई भारी बारिश के कारण 25 जुलाई 2024 को मुठा नदी में बाढ़ आई थी।
इस दौरान एकतानगर के कई सोसायटियों और दुकानों में पानी घुस गया था और करोड़ों का नुकसान हुआ था। इस आपदा से लोग अभी तक पूरी तरह उबर भी नहीं पाए हैं। इस घटना के बाद तत्कालीन मुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे, उपमुख्यमंत्री अजीत पवार, मनसे अध्यक्ष राज ठाकरे समेत कई नेताओं ने यहां का दौरा किया था।
शिंदे ने उस समय नागरिकों के स्थायी पुनर्वसन के लिए क्लस्टर डेवलपमेंट का दर्जा देकर योजना लागू करने का आश्वासन दिया था। महापालिका द्वारा किए गए सर्वेक्षण में नीली और लाल बाइ रेखा में 103 निर्माण कार्य मिले हैं। इनमें 1,383 फ्लैट्स और 67 दुकानें शामिल हैं. इनफा आवासीय क्षेत्रफल 87,399 स्क्वायर मीटर और व्यापारी क्षेत्रफल 1,340 स्क्वायर मीटर है। नियमानुसार वो हेक्टेयर से बड़े भूखंड पर क्लस्टर डेवलपमेंट किया जा सकता है। ठाणे में ऐसी योजना पहले लागू हो चुकी है। एकतानगर के लिए भी लगभग 698 करोड रुपए का प्रोजेक्ट अपेक्षित है।
तत्कालीन आयुक्त डॉ. राजेंद्र भोसले ने यह प्रस्ताव मंत्रालय को भेजा था। इसके लिए महापालिकत लगातार प्रयास कर रही है, लेकिन राज्य सरकार की ओर से अब तक इसे मंजूरी नहीं मिली है। सिंहगढ़ रोड पुलिस थाने के पीछे महापालिका की जमीन को पुनर्वसन के लिए चिन्हित किया गया है, लेकिन सरकार की और से कोई रिख्यास नहीं मिल रहा है। इसे लेकर विधायक और सज्यमंत्री के बीच टकराव देखने को मिल रहा है।
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लिबाड़ी क्षेत्र में धुनर्वसन प्रस्ताव के साथ-नया एकतानगर, विठ्ठलनगर इलाकों को बाढ़ से बचाने के लिए वहगांव खुर्द से राजाराम पुल तथा (स्टेच-6, लंबाई 4.10 किमी) नदी पुनजीवन प्रोजेक्ट के लिए आपदा प्रबंधन निधि से 300 करोड़ समाये देने का प्रस्ताव भी महाकालिका ने 26 जून को नगर विकास विभाग को भेजा है। वित्त आयोग के अनुसार इस फंड का उपयोग आपदा निवारण के लिथ किया जा सकता है।