सड़क सुरक्षा कार्यक्रम संपन्न। (सौजन्यः सोशल मीडीया)
नागपुर: केंद्रीय सड़क परिवहन एवं राजमार्ग मंत्री नितिन गडकरी ने कहा, यातायात नियमों का उल्लंघन करने वालों पर जुर्माना लगाया गया। कानून भी कड़े किए गए, फिर भी सड़क दुर्घटनाओं में मौतें रुक नहीं रही हैं। हेलमेट न पहनने के कारण मृत्यु दर अधिक है। जब तक हमारी मानसिकता नहीं बदलेगी, हम इस पर नियंत्रण नहीं कर सकते। वहीं सरकारी वाहनों में भी नियमों का पालन नहीं किया जाता।
मुझे अक्सर नाराजगी महसूस करनी पड़ी क्योंकि मैंने जुर्माना बढ़ा दिया था। हालांकि, स्कूली जीवन के दौरान ही यातायात नियमों को सीखना आवश्यक है, ऐसा दावा केंद्रीय मंत्री नितिन गडकरी ने किया। सड़क सुरक्षा अभियान के तहत वनामति में प्रसिद्ध बॉलीवुड अभिनेता अनुपम खेर ने शनिवार को नितिन गडकरी का इंटरव्यू लिया।
गडकरी ने कहा, ‘कोरोना काल, युद्ध में या दंगों में इतनी जीवित हानि हुई नहीं। जितनी मौतें आज हर साल सड़क दुर्घटनाओं में हो रही हैं। मुझे इसका अफसोस है। लेकिन इस देश में बेहतर सड़कें बनाई जाएंगी। लेकिन लोगों में अनुशासन नहीं रहेगा तो ये सड़कें किसी काम की नहीं हैं। सिग्नल तोड़ना, लेन-ब्रेकिंग, गति सीमा से अधिक तेज़ वाहन चलाना, हेलमेट न पहनना, सीट बेल्ट न लगाना ऐसी बहुत सी गलतियां लोग करते जा रहे हैं।
आपकी मां, पत्नी और बच्चे घर पर इंतज़ार कर रहे होंगे। वाहन चलाते समय इस बात का ध्यान सभी रखें। क्योंकि वर्ष के दौरान दुर्घटनाओं में जो मौतें होती हैं, इनमें से अधिकांश 18 से 34 वर्ष की आयु के युवा हैं। अगर कोई युवक अचानक अपने परिवार छोड़ जाता है, तब उसके परिवार पर जो संकट आता है, इसकी हम कल्पना भी नहीं कर सकते, ऐसी भावनाएं गडकरी ने व्यक्त की।
राहगीरों के लिए बनाए गए फुटपाथ पर अतिक्रमण को लेकर भी गडकरी ने नाराजगी व्यक्त की। अतिक्रमण को खत्म करने के लिए सभी ने जिम्मेदारी लेने की जरूरत होने की बात गडकरी ने कही। उन्होंने समुदाय में गैर सरकारी संगठनों और सामाजिक कार्यकर्ताओं से सड़क सुरक्षा के लिए पहल करने की अपील की।
उन्होंने सड़क सुरक्षा के क्षेत्र में काम कर रहे राजू वाघ और चंद्रशेखर मोहिते की विशेष रूप से प्रशंसा की। इस कार्यक्रम में नागपुर यातायात पुलिस विभाग, राज्य परिवहन कार्यालय के अधिकारी एवं कर्मचारी, विभिन्न सामाजिक संगठन एवं सड़क सुरक्षा पर काम करने वाले कार्यकर्ता उपस्थित थे।
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सड़क दुर्घटना के बाद ‘गोल्डन ऑवर’ के दौरान पीड़ितों की जान बचाना आवश्यक है। इससे दुर्घटना पीड़ितों की मदद करने वाले लोगों को सहायता मिलती है। सरकार की ओर से 5 हजार रुपये दिए जाते थे, अब यह राशि बढ़ाकर 25 हजार रुपये की जाएगी। दुर्घटना पीड़ितों की मदद करने वाले लोगों को पुलिस या क्षेत्रीय परिवहन अधिकारी कोई सवाल नहीं पूछते।
इसके विपरीत, इन व्यक्तियों को प्रोत्साहन के रूप में 5 हजार रुपये दिए जाते हैं। हम इस राशि को बढ़ा रहे हैं। दुर्घटना के पीड़ितों की मदद करने वालों को सहायता प्रदान करने का निर्णय संसद में लिया गया है, जिसके तहत ‘गुड सेमेरिटन एक्ट’ पारित हुआ है, ऐसी बात गडकरी ने कही।
हमारे देश में 10 हजार छात्र यह स्कूलों के आसपास खराब यातायात की स्थिति से पीड़ित हैं। गडकरी ने बताया कि गोल चक्कर के डिजाइन के कारण हेलमेट न पहनने से 30 हजार लोगों की मौत हो जाती है। 25 साल पहले अजनी, नागपुर में कई दुर्घटनाएं हुई थीं। लेकिन इस चौराहे पर सड़क इंजीनियरिंग के माध्यम से सुधारने के कारण आज 25 साल में यहां एक भी दुर्घटना नहीं हुई है।
नागपुर ग्रामीण पुलिस अधीक्षक हर्ष पोद्दार और रोडमार्क ने दुर्घटना संभावित स्थल की मरम्मत की है। उन्होंने बताया कि नागपुर ग्रामीण में राष्ट्रीय राजमार्ग पर दुर्घटनाओं की संख्या में 48 प्रतिशत की कमी आई है।