विजय वडेट्टीवार (सोर्स: सोशल मीडिया)
मुंबई: महाराष्ट्र के ठाणे जिले में बदलापुर यौन उत्पीड़न की घटना के बाद लगातार राज्य में ऐसे मामले सामने आ रहे हैं। विपक्ष इन घटनाओं को लेकर राज्य की महायुति सरकार पर हमलावर है। बदलापुर में हुई घटना के बाद विपक्ष ने शिंदे सरकार के विरोध में पूरे प्रदेश में प्रदर्शन किया और कानून व्यवस्था पर सवाल उठाया। अब कांग्रेस नेता ने महाराष्ट्र सरकार पर हमला बोलते हुए राज्य में राष्ट्रपति शासन लगाने की मांग कर दी है।
महाराष्ट्र विधानसभा के नेता प्रतिपक्ष व कांग्रेस नेता विजय वडेट्टीवार ने राज्य सरकार पर हमला बोलते हुए महाराष्ट्र में राष्ट्रपति शासन लगाने की मांग की है। प्रदेश में महिलाओं पर हो रहे अत्याचार और गडचिरोली में हुई घटना पर बोलते हुए विजय वडेट्टीवार ने शिंदे सरकार पर जमकर निशाना साधा। उन्होंने आरोप लगाया कि राज्य में कानून व्यवस्था पूरी तरह से ध्वस्त हो चुकी है।
यह भी पढ़ें:– बगलान विधानसभा सीट: हर बार होता है बदलाव, इस सीट को रिटेन करना BJP के लिए बड़ी चुनौती
कांग्रेस नेता विजय वडेट्टीवार ने शुक्रवार को प्रदेश की एकनाथ शिंदे नीत सरकार पर निशाना साधते हुए कहा कि महाराष्ट्र में कानून-व्यवस्था की स्थिति ‘पूरी तरह से ध्वस्त’ हो चुकी है। उन्होंने राज्य में राष्ट्रपति शासन लगाने की मांग की। महाराष्ट्र विधानसभा में विपक्ष के नेता ने ‘पीटीआई-वीडियो’ से बातचीत करते हुए कहा कि राज्य में हाल में हिंसा की 200 से अधिक घटनाएं सामने आई हैं।
महाराष्ट्र विधासभा के नेता प्रतिपक्ष विजय वडेट्टीवार ने आरोप लगाया कि ‘‘कानून-व्यवस्था सिर्फ नाम के लिए है। गृह विभाग पूरी तरह से विफल है। प्रभारी लोग पूरी तरह से राजनीति में डूबे हुए हैं और लोगों को मझधार में छोड़ दिया गया है।” वडेट्टीवार ने कहा कि ‘‘इस सरकार को बर्खास्त कर राज्य में राष्ट्रपति शासन लगाया जाना चाहिए।”
यह भी पढ़ें:– चंदवाड़ विधानसभा सीट: दो बार के BJP विधायक राहुल अहेर की साख दांव पर, क्या शरद पवार की NCP कर पाएगी वापसी?
विजय वडेट्टीवार ने विभिन्न सवालों के जवाब में कहा कि पूर्वी महाराष्ट्र के गडचिराेली जिले की घटना चौंकाने वाली है। गडचिरोली में चिकित्सा सुविधाओं की कमी के कारण दो बच्चों की मौत हो गई। उन्होंने कहा कि ‘‘यह राज्य पर एक धब्बा है। बच्चों के इलाज के लिए उनके अभिभावकों को 15 किलोमीटर पैदल चलना पड़ा, क्योंकि उनके गांव में कोई डॉक्टर नहीं था… स्वास्थ्य मंत्री और प्रभारी मंत्री क्या कर रहे हैं।”
(एजेंसी इनपुट के साथ)