CDCC बैंक अध्यक्ष चुनाव (सौजन्य-सोशल मीडिया)
CDCC Bank Elections: स्थानीय जिला मध्यवर्ती सहकारी बैंक में संचालकों के लिए हुए चुनाव में भाजपा से अधिक संचालकों की जीत के बावजूद ऐन वक्त पर शिवसेना के रविन्द्र शिंदे द्वारा भाजपा में प्रवेश से हताश कांग्रेस ने अब बैंक में निर्वाचित भाजपा सदस्यों में सेंध लगाने का प्रयास शुरू कर दिया है।
उल्लेखनीय है कि, कुल 21 सदस्यीय इस बैंक में संचालकों के लिए हुए चुनाव में कांग्रेस प्रणीत महाविकास आघाडी के तकरीबन 12 संचालक विजयी हुए थे जबकि भाजपा समर्थित 9 संचालक निर्वाचित रहे थे। इस स्थिति में कांग्रेस समर्थित महाविकास आघाडी की सत्ता बैंक में स्थापित होने की प्रबल संभावना व्यक्त की जा रही थी कि, अचानक शिवसेना (ठाकरे) के जिलाध्यक्ष रविन्द्र शिंदे ने भाजपा में अधिकृत रूप से प्रवेश ले लिया।
शिंदे के पास बैंक के अन्य तीन संचालकों का समर्थन हासिल होने से अल्पमत में आई कांग्रेस का बैंक पर अपनी सत्ता स्थापित करने का सपना धूमिल हो गया। यह भी उल्लेखनीय है कि, ऐन वक्त पर शिवसेना (ठाकरे) से भाजपा में दाखिल हुए रविन्द्र शिंदे को लेकर भाजपा के कुछ नवनिर्वाचित संचालक नाखुश नजर आ रहे है।
बैंक के इतिहास में पहली बार भाजपा का अध्यक्ष कुर्सी पर बैठने की प्रबल संभावनाओं के बीच अब बाहरी पार्टी से आकर भाजपा में दाखिल होने और अध्यक्ष पद का प्रमुख दावेदार बनने वाले रविन्द्र शिंदे को लेकर भाजपा के कुछ नवोदित संचालकों में अस्वस्थता नजर आ रही है।
भाजपा का दामन थामने वाले शिंदे के खिलाफ उनकी कर्मभूमि वाले भद्रावती तथा वरोरा तहसील में भी असंतोष की लहर दिखाई दे रही है, इसी कारण दोनों तहसील में अब बैनर बाजी दिखाई दे रही है तो शिंदे के बैनर पर कालिख पोतने जैसी घटनाएं सामने आ रही है। शिंदे के भाजपा में प्रवेश से नाराज हुए भाजपा के संचालकों की यह नाराजगी कैश करने की दृष्टि से अब कांग्रेस ने प्रयास तेज कर दिए है।
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बताया जाता है कि, कांग्रेस भाजपा संचालकों के खेमे में सेंध लगाने का कोई अवसर गंवाना नहीं चाहती है। कांग्रेस की नजर भाजपा के ऐसे संचालकों पर है, जो पदों की चाहत में आसानी से टूट सकते है और भाजपा के खेमे से बाहर आकर कांग्रेस का साथ देने को तैयार हो सकते है। जिला बैंक के अध्यक्ष और उपाध्यक्ष पद का चुनाव 22 जुलाई को होने जा रहा है। ऐसे में भाजपा खेमे में सेंध लगाने के कांग्रेस द्वारा चलाये जा रहे प्रयास किस हद तक सफल होते हैं, इस ओर ही सबकी निगाहें लगी हुई है।