संजय राउत और गिरीश महाजन (सौजन्य-सोशल मीडिया)
मुंबई: राज्य के जल संसाधन मंत्री और बीजेपी नेता गिरीश महाजन और उद्धव सेना के मुख्य प्रवक्ता और राज्यसभा सदस्य संजय राउत के बीच वाक युद्ध जारी है। महाजन ने राउत को दलाल बताते हुए कहा है कि उद्धव ठाकरे को बर्बाद करने के लिए किसी विपक्ष की जरूरत नहीं है, बस एक राउत ही काफी हैं। इससे पहले राउत ने कहा था कि जब बीजेपी राज्य में सत्ता से बाहर होगी तो सबसे पहले पार्टी छोड़ने वाले महाजन ही होंगे।
बीजेपी के वरिष्ठ नेता महाजन को मुख्यमंत्री फडणवीस का करीबी माना जाता है, लेकिन राजनीतिक हलकों में यह चर्चा गरम है कि फडणवीस और महाजन के बीच अब पहले जैसा रिश्ता नहीं रहा। इसका कारण माना जा रहा है कि 2014 में मुख्यमंत्री पद के प्रबल दावेदार एकनाथ खडसे को साइड करने में महाजन की बड़ी भूमिका रही। आज खडसे पार्टी में भी नहीं है। दोनों के बीच बयानबाजी की शुरुआत महाजन से हुई।
नासिक जिले के एक कार्यक्रम में महाजन ने कहा था कि उद्धव सेना खत्म होने की कगार पर है। अगले आठ दिनों में उनके साथ कोई नहीं बचेगा। महाजन का यह बयान सांसद राउत को चुभ गया। राउत ने पलटवार करते हुए कहा कि महाजन सबसे पहले यह तय करें कि क्या पार्टी में उनकी खुद की जमीन बची भी है या नहीं। बीजेपी एक समय पवित्र लोगों की पार्टी हुआ करती थी।
उन्होंने कहा आज पार्टी को दलाल, भ्रष्ट लोग और ठेकेदार चला रहे हैं और ये लोग हमारी पार्टी को मिटाने निकले हैं। जिनके पास पुलिस है, पैसा है, वे इन ताकतों का इस्तेमाल कर लोगों को डराकर पार्टी तोड़ने की कोशिश कर रहे हैं। इसके लिए बीजेपी ने जो दलाल नियुक्त किए हैं, गिरीश महाजन उन्हीं में से एक हैं।
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राउत ने दावा किया कि राज्य में मविआ की सरकार के दौरान जब उद्धव ठाकरे मुख्यमंत्री थे, तब महाजन के घोटालों की जांच शुरू हुई थी। उस समय महाजन पार्टी बदलने के लिए भी तैयार थे। तब महाजन की ओर से संदेश भेजे जा रहे थे कि वह राजनीति छोड़ देंगे, शांत बैठेंगे। राउत ने बीजेपी नेता पर निशाना साधते हुए कहा कि ये लोग एक नंबर के डरपोक हैं।
राउत के बयान पर महाजन ने कहा कि जिस तरह से राउत ने उद्धव को शरद पवार और कांग्रेस के करीब पहुंचाया, उससे उन्होंने अपनी ही पार्टी का सबसे ज्यादा नुकसान किया है। यदि ठाकरे ने राउत पर लगाम नहीं लगाई, तो पार्टी टूट जाएगी। महाजन ने कहा कि राउत ने जो अपनी पार्टी के साथ किया है वैसा मैं अपनी पार्टी के साथ कभी नहीं कर सकता।
उन्होंने आगे कहा मैं ऐसा कोई काम नहीं करूंगा, जिससे पार्टी को किसी प्रकार का नुकसान हो। मैं बीजेपी के सबसे वरिष्ठ नेताओं में से एक हूं। मैंने 20 साल तक विपक्ष में रहकर काम किया है। पाला बदलने के लिए मुझे कई बार प्रस्ताव मिले, लेकिन मैंने कभी पार्टी नहीं छोड़ी।