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नई दिल्ली: विश्व की सबसे बड़ी राजनैतिक पार्टी अपने लिए नया सर्वे-सर्वा खोजने में जुटी है। सियासी गलियारों में कयासों की बयार बह रही है। हर दिन कोई नया नाम चर्चा में आ रहा है। लेकिन कयासों की कायनात से निकलकर सूत्रों की सतही सूचना आ रही है। जिसमें यह बताया जा रहा है कि भारतीय जनता पार्टी सत्ता के समीकरण को साधने के लिए किसे पार्टी की बागडोर सौंपने जा रही है। जिससे न केवल वह आधी आबादी को साध सके बल्कि दक्षिण के अभेद्य दुर्ग को भी भेद सके।
बीजेपी मार्च के मध्य तक अपने नए राष्ट्रीय अध्यक्ष की घोषणा करने वाली है। यह फैसला पार्टी के संगठनात्मक चुनावों के बाद लिया जाएगा। भगवा पार्टी इस समय 13 से अधिक राज्यों में संगठनात्मक चुनावों में व्यस्त है। पार्टी सूत्रों के अनुसार, नए पार्टी अध्यक्ष का चुनाव आंतरिक सहमति से होगा। सूत्रों का कहना है कि भाजपा के इतिहास में पहली बार किसी महिला को राष्ट्रीय अध्यक्ष बनाए जाने की संभावना है। चर्चा यह भी है कि भाजपा दक्षिण भारत से किसी को यह जिम्मेदारी दे सकती है।
सूत्रों की मानें तो अगर भाजपा राष्ट्रीय अध्यक्ष के लिए किसी महिला को चुनती है तो महिला मोर्चा की राष्ट्रीय अध्यक्ष और कोयंबटूर की विधायक वनथी श्रीनिवासन या आंध्र प्रदेश भाजपा अध्यक्ष दग्गुबाती पुरंदेश्वरी इस पद के लिए सबसे संभावित उम्मीदवार मानी जा रही हैं। दग्गुबाती पुरंदेश्वरी इस पद के लिए सबसे संभावित उम्मीदवार हैं। 66 वर्षीय पुरंदेश्वरी 2014 में कांग्रेस छोड़कर भाजपा में शामिल हुई थीं और उन्हें संगठनात्मक मामलों का अच्छा खासा अनुभव है। वर्तमान में वे आंध्र प्रदेश में भाजपा की अध्यक्ष हैं और एक तेजतर्रार महिला नेता के रूप में जानी जाती हैं।
पुरंदेश्वरी को ‘दक्षिण की सुषमा स्वराज’ के नाम से भी जाना जाता है। अपनी शानदार वक्तृत्व कला और पांच भाषाओं में दक्षता के कारण वे भाजपा समर्थकों के बीच व्यापक स्वीकार्यता प्राप्त कर चुकी हैं। वहीं, वनथी श्रीनिवासन को हाल ही में पार्टी के रणनीतिकार और गृह मंत्री अमित शाह द्वारा आयोजित कार्यक्रमों में शामिल होते देखा गया। भाजपा के एक वरिष्ठ नेता ने कहा, “वे अपने मोर्चे के तहत कई सफल कार्यक्रमों के आयोजन के लिए जानी जाती हैं। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और अमित शाह उन पर भरोसा करते हैं।”
सूत्रों ने यह भी संकेत दिया कि पार्टी का नया अध्यक्ष 50-70 वर्ष की आयु वर्ग में चुना जाएगा। इसके कारण हरियाणा के पूर्व मुख्यमंत्री मनोहर लाल खट्टर दौड़ से बाहर हो सकते हैं। वर्तमान में केंद्रीय शिक्षा मंत्री धर्मेंद्र प्रधान भी दौड़ में बताए जा रहे हैं। यदि भाजपा महिला राष्ट्रीय अध्यक्ष का चयन नहीं करती है तो धर्मेंद्र प्रधान, भूपेंद्र यादव और विनोद तावड़े भी संभावित उम्मीदवार बन सकते हैं। इसके साथ ही महला उम्मीदवारों में स्मृति ईरानी और वसुंधरा राजे का नाम दौड़ में था लेकिन पुरंदेश्वरी और वनथी श्रीनिवासन के रेस में आने बाद कहानी बदल गई है।
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आपको बता दें कि भारतीय जनता पार्टी का हर एक कदम चुनाव को जेहन में रखकर उठता है। अब अगले कुछ वर्षों में उत्तर प्रदेश, पश्चिम बंगाल, तमिलनाडु, असम और गुजरात में विधानसभा चुनाव होने हैं और पार्टी इन राज्यों की चुनावी स्थिति को ध्यान में रखते हुए उम्मीदवारों के नामों पर विचार कर रही है। इसके अलावा महिला अध्यक्ष के जरिए आधी आबादी को साधने का प्रयास भी किया जाएगा।