राहुल गांधी (सोर्स- सोशल मीडिया)
Rahul Gandhi vs Election Commission: कर्नाटक के मुख्य निर्वाचन अधिकारी ने कांग्रेस नेता राहुल गांधी को नोटिस जारी कर उनके द्वारा लगाए गए मतदाता धोखाधड़ी के आरोपों पर स्पष्टीकरण और सबूत मांगे हैं। यह पत्र राहुल गांधी द्वारा 7 अगस्त, 2025 को दिल्ली में आयोजित एक प्रेस कॉन्फ्रेंस के जवाब में लिखा गया है, जिसमें उन्होंने बेंगलुरु मध्य के महादेवपुरा विधानसभा क्षेत्र में बड़े पैमाने पर मतदाता धोखाधड़ी का आरोप लगाया था।
कर्नाटक के सीईओ ने राहुल गांधी को लिखे अपने पत्र में कहा है, ‘आपने 7 अगस्त की प्रेस कॉन्फ्रेंस में कहा था कि आपके द्वारा दिखाए गए दस्तावेज़ भारत के चुनाव आयोग के रिकॉर्ड से हैं। आपने कहा था कि यह चुनाव आयोग का डेटा है और यह भी कहा था कि मतदान अधिकारी द्वारा दिए गए रिकॉर्ड के अनुसार, शकुन रानी ने दो बार मतदान किया है। आपने एक मतदाता पहचान पत्र दिखाया और कहा कि उस पर दो टिक मार्क हैं, ये टिक मार्क मतदान केंद्र अधिकारी के हैं।’
मुख्य निर्वाचन अधिकारी ने आगे कहा, ‘जांच के दौरान, शकुन रानी ने कहा है कि उन्होंने केवल एक बार मतदान किया, दो बार नहीं, जैसा कि आपने आरोप लगाया है। हमारे कार्यालय द्वारा की गई प्रारंभिक जांच से यह भी पता चला है कि आपके प्रस्तुतीकरण में दर्शाया गया सही का निशान वाला दस्तावेज़ मतदान अधिकारी द्वारा जारी किया गया दस्तावेज़ नहीं है।
कर्नाटक के CEO ने आगे लिखा कि आपसे अनुरोध है कि कृपया वे प्रासंगिक दस्तावेज़ उपलब्ध कराएं जिनके आधार पर आपने यह निष्कर्ष निकाला है कि शकुन रानी या किसी अन्य व्यक्ति ने दो बार मतदान किया है, ताकि हमारे कार्यालय द्वारा विस्तृत जांच की जा सके।
राहुल गांधी ने अपनी प्रेस कॉन्फ्रेंस में चुनाव आयोग पर अपात्र मतदाताओं को मतदाता सूची में शामिल करने और योग्य मतदाताओं के नाम हटाने का आरोप लगाया था। इसके जवाब में, कर्नाटक के मुख्य निर्वाचन अधिकारी ने एक बयान जारी कर कहा था, ‘चुनावों के संचालन के संबंध में, चुनाव परिणामों को केवल उच्च न्यायालय में चुनाव याचिका के माध्यम से ही चुनौती दी जा सकती है। आपसे अनुरोध है कि आप निर्वाचक पंजीकरण नियम, 1960 के नियम 20(3)(बी) के अंतर्गत घोषणा/शपथ पत्र पर हस्ताक्षर करें और उसे उन मतदाताओं के नामों के साथ प्रस्तुत करें, ताकि आवश्यक कार्यवाही शुरू की जा सके।’
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कर्नाटक राज्य चुनाव आयोग ने राहुल गांधी के आरोपों पर कहा था कि मतदाता सूचियां जनप्रतिनिधित्व अधिनियम, 1950, पंजीकरण नियम, 1960 और भारत के चुनाव आयोग द्वारा समय-समय पर जारी निर्देशों के अनुसार पारदर्शी तरीके से तैयार की जाती हैं। नवीनतम मतदाता सूचियां कांग्रेस प्रतिनिधियों के साथ साझा की गई थीं और कांग्रेस ने तब इसके खिलाफ कोई अपील या शिकायत दर्ज नहीं की थी।
राहुल गांधी ने अपनी प्रेस कॉन्फ्रेंस में दावा किया था कि महादेवपुरा में 1,00,250 वोट चुराए गए, जिनमें 11,965 डुप्लीकेट मतदाता, 40,009 फर्जी और अवैध पते, 10,452 एक ही पते पर कई मतदाता, 4,132 अवैध तस्वीरें और 33,692 फॉर्म 6 का दुरुपयोग शामिल था।