कोलकाता महिला डॉक्टर हत्या मामला (सोर्स:- सोशल मीडिया)
कोलकाता: पश्चिम बंगाल में आरजी कर मेडिकल कॉलेज में ट्रेनी डॉक्टर की हत्या और दरिंदगी का मामला दिन प्रतिदिन और गर्मता जा रहा है, जहां अब पूरे देश में इस घटना के आरोपी को सजा दिलाने को लेकर मांग तेज हो गई है। इस मामले में आर जी कॉलेज के अधिक्षक संजय वशिष्ठ को निलंबत कर दिया गया है। इसके साथ ही अब ममता सरकार भी इस मामले में एक्शन में आती हुई नजर आ रही है जहां दीदी ने अपराधी के लिए फांसी की सजा की मांग उठाई है।
ट्रेनी डॉक्टर की हत्या मामले में मेडिकल कॉलेज के जूनियर डॉक्टर पीड़िता को न्याय दिलाने की मांग को लेकर लगातार प्रदर्शन कर रहे हैं। जहां जूनियर डॉक्टरों का कहना है कि पुलिस ने अभी तक सिर्फ एक आरोपी को ही गिरफ्तार किया है, जबकि इस जघन्य अपराध में कई अन्य लोग भी शामिल हो सकते हैं। इसके साथ ही जूनियर डॉक्टरों का दावा है कि आरोपी संजय रॉय की गिरफ्तारी के पीछे जानबूझकर कोई बड़ी बात छिपाने की कोशिश की जा रही है।
ट्रेनी डॉक्टर के साथ दरिंदगी के बाद हत्या मामले में स्वास्थ्य विभाग एक बड़ा एक्शन लेते हुए आरजी कर मेडिकल कॉलेज के अधीक्षक डॉ. संजय वशिष्ठ को उनके पद से निलंबित करने का आदेश दिया है। मिली जानकारी के अनुसार बता दें कि अब उनकी जगह अस्पताल की डीन बुलबुल मुखोपाध्याय को जिम्मेदारी दी गई है।
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आरजी कर मेडिकल कॉलेज में ट्रेनी डॉक्टर के साथ हुई दरिंदगी को लेकर अब आईएमए ने बड़ी चेतावनी दी है। आईएमए ने जांच पूरी करने के लिए 48 घंटे का समय देते हुए कहा कि हम मांग करते हैं कि पुलिस अधिकारी 48 घंटे के भीतर और सटीकता के साथ कार्रवाई करें, अन्यथा हम देशव्यापी कार्रवाई शुरू करने के लिए मजबूर होंगे। दोषियों को गिरफ्तार करने के लिए दो दिन का अल्टीमेटम दिया जाता है। इसके बाद इंडियन मेडिकल एसोसिएशन देशव्यापी विरोध प्रदर्शन करेगा।
वहीं अब ये घटना इतना गर्म हो चुका है कि रेजिडेंट डॉक्टरों के संगठन फेडरेशन ऑफ ऑल इंडिया रेजिडेंट डॉक्टर्स एसोसिएशन ने सोमवार से देश के सभी सरकारी अस्पतालों के रेजिडेंट डॉक्टर्स एसोसिएशन द्वारा हड़ताल करने का ऐलान किया है। जानकारी के लिए बता दें कि हड़ताल के दौरान देश की सभी अस्पतालों की ओपीडी, इलेक्टिव सर्जरी और लैब का काम बंद रखने का ऐलान किया गया है।
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पीड़िता को न्याय दिलाने के लिए प्रदर्शन कर रहे जूनियर डॉक्टरों ने पुलिस प्रशासन पर सवाल खड़े करते हुए कहा कि पुलिस ने अभी तक सिर्फ एक आरोपी को ही गिरफ्तार किया है, जबकि इस जघन्य अपराध में कई अन्य लोग भी शामिल हो सकते हैं। अभी तक घटनास्थल के आसपास के सीसीटीवी फुटेज भी नहीं देखने दिए गए हैं। यही वजह है कि बैठक के बाद डॉक्टरों ने फैसला किया है कि जब तक उनकी मांगें पूरी नहीं होतीं, तब तक वे अस्पताल में काम करना बंद रखेंगे। उन्होंने इस मामले की न्यायिक जांच की मांग की है।