
मेंटल स्ट्रेस और वेट लॉस प्रेशर से जूझती महिला (सौ. फ्रीपिक)
Mental Health Tip: आज की भागदौड़ भरी जिंदगी और सोशल मीडिया के दौर में परफेक्ट बॉडी वाले दबाव ने हमें एक ऐसी रेस में खड़ा कर दिया है जहां हम शरीर को खूबसूरत दिखाने में लगे हैं। लेकिन इसके चक्कर में हम दिमाग को नजरअंदाज करते जा रहे हैं। आने वाले में स्वास्थ्य का असली पैमाना केवल वजन नहीं बल्कि आपकी मानसिक स्थित भी होनी चाहिए।
अक्सर लोग वजन घटाने के चक्कर में क्रैश डाइट और कठिन वर्कआउट का सहारा लेते हैं। जिसका सीधा असर उनके स्वभाव और मानसिक शांति पर पड़ता है। विशेषज्ञों के अनुसार आपका दिमाग स्वस्थ नहीं है तो आपका शरीर कभी भी पूरी तरह से फिट नहीं रह सकता है।
डिजिटल डिटॉक्स को दिनचर्या बनाएं: सोशल मीडिया की चमक-धमक और लगातार मिलने वाली सूचनाएं तनाव का सबसे बड़ा कारण हैं। दिन का कम से कम एक घंटा फोन से पूरी तरह दूर रहें। यह आपके दिमाग को ओवरलोड होने से बचाएगा।
नींद से समझौता बिल्कुल नहीं: वजन घटाने के लिए लोग अक्सर सुबह जल्दी उठकर जिम जाते हैं, लेकिन अगर आपकी नींद पूरी नहीं है तो वर्कआउट का फायदा कम और चिड़चिड़ापन ज्यादा होगा। 7 से 8 घंटे की गहरी नींद दिमाग को रिपेयर करने के लिए अनिवार्य है।
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माइंडफुल ईटिंग: क्या खा रहे हैं उससे ज्यादा जरूरी है कि कैसे खा रहे हैं। मोबाइल देखते हुए खाना बंद करें। खाने के स्वाद और उसकी बनावट पर ध्यान दें। यह न केवल पाचन सुधारता है बल्कि आपको मानसिक संतुष्टि भी देता है।
अनरियल गोल्स से बचें: रातों-रात 10 किलो वजन कम करने का लक्ष्य दिमाग में एंग्जायटी पैदा करता है। छोटे और यथार्थवादी लक्ष्य रखें। अपनी प्रगति का जश्न मनाएं चाहे वह कितनी भी छोटी क्यों न हो।
मेडिटेशन और ब्रीदिंग एक्सरसाइज: दिन में सिर्फ 10 मिनट मौन बैठना या गहरी सांस लेना आपके कॉर्टिसोल तनाव हार्मोन के स्तर को कम कर सकता है। यह आपको दिन भर के फैसलों के लिए मानसिक स्पष्टता देता है।
वजन का कांटा नीचे ले जाने से पहले तनाव का कांटा नीचे लाना जरूरी है। आने वाले साल में खुद से वादा करें कि आप अपनी खुशी को किसी भी नंबर या साइज के लिए कुर्बान नहीं करेंगे। एक स्वस्थ दिमाग ही एक स्वस्थ शरीर का निर्माण करता है।






