मुनीर की सेना ने अपनों पर किया क्रूर हवाई हमला, ( डिजाइन फोटो)
Pakistan Khyber Pakhtunkhwa Air strike: पाकिस्तान के खैबर पख्तूनख्वाह प्रांत में पिछले हफ्ते पुलिस की सुरक्षा में जैश-ए-मोहम्मद के भर्ती अभियान के तहत एक सभा आयोजित की गई थी। वहीं, इसी प्रांत की लंडी कोटल तहसील के मात्रे दारा इलाके में बीती रात पाकिस्तान की सेना ने रिहायशी क्षेत्र पर एयर स्ट्राइक की। इस हमले में अब तक 30 से अधिक लोगों की मौत हो चुकी है, जिनमें कई महिलाएं और बच्चे भी शामिल हैं।
खैबर पख्तूनख्वाह के मात्रे दारा गांव, जो तिराह घाटी में अफगानिस्तान की सीमा के करीब स्थित है वहां पाकिस्तानी सेना ने घरों पर हवाई हमला किया। रिपोर्ट्स के अनुसार, बीती रात 2 बजे तिराह घाटी के इस गांव में JF-17 विमान से कम से कम 8 LS-6 बम गिराए गए। पाकिस्तानी सेना इसे उस ‘ऑपरेशन’ का हिस्सा बता रही है, जिसके तहत पिछले तीन हफ्तों से वह तहरीक-ए-तालिबान पाकिस्तान (TTP) के ठिकानों पर कार्रवाई कर रही है। लेकिन वास्तविकता यह है कि आतंकियों की जगह आम लोग लगातार बमबारी की चपेट में आ रहे हैं और निर्दोष नागरिक अपनी जान गंवा रहे हैं।
पाकिस्तान की सेना पर आरोप है कि उसने अपने चीनी बनाए JF-17 थंडर फाइटर जेट से वादी तिराह के अकाखेल इलाके में कम से कम आठ LS-6 बम गिराए। इस हमले की निंदा स्थानीय विधायक इकबाल अफरीदी ने भी की। उन्होंने फेसबुक पर लिखा कि यह बेहद दिल दहला देने वाला है कि मासूम बच्चों और महिलाओं की जान चली गई। उन्होंने इसे इंसानियत के खिलाफ एक बड़ा अपराध बताया और कहा कि इसकी जितनी भी निंदा की जाए कम है।
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पाकिस्तानी सरकार और सेना खुले तौर पर जैश-ए-मोहम्मद जैसे वैश्विक आतंकी समूहों को खैबर पख्तूख्वाह में सक्रिय होने की इजाजत देती है, जबकि दूसरी ओर अपने ही नागरिकों पर हमले करती है। यह पाकिस्तान की दोहरी नीतियों और झूठे दावों का साफ सबूत है। सेना आतंकवादियों को संरक्षण देती है, उन्हें पनाह देती है, और निर्दोष लोगों के खून से अपने अपराधों को छुपाने की कोशिश करती है। अब यह सच उजागर हो चुका है कि इस्लामाबाद और रावलपिंडी के सत्ता और सेना के लोग आतंकवाद को जन्म देते हैं और मानवता के दुश्मन हैं।