अब्बास अंसारी (सोर्स- सोशल मीडिया)
Abbas Ansari News: दिवंगत बाहुबली नेता मुख्तार अंसारी के बेटे अब्बास अंसारी को बुधवार को इलाहाबाद हाईकोर्ट से बड़ी राहत मिली। कोर्ट ने निचली अदालत के उस आदेश को रद्द कर दिया है जिसमें सजा स्थगित करने की मांग खारिज की गई थी। कोर्ट ने यह आदेश निचली अदालत में सजा के खिलाफ लंबित अपील को नियमानुसार निस्तारित करने के लिए दिया है।
अब्बास अंसारी की पुनरीक्षण याचिका पर इलाहाबाद हाईकोर्ट के न्यायमूर्ति समीर जैन ने वरिष्ठ अधिवक्ता डीएस मिश्रा के साथ ही राज्य सरकार की ओर से अधिवक्ता उपेंद्र उपाध्याय और अपर महाधिवक्ता एमसी चतुर्वेदी व एजीए संजय सिंह को सुनने के बाद यह आदेश दिया है।
मऊ सदर विधानसभा क्षेत्र से सुहेलदेव भारतीय समाज पार्टी के विधायक अब्बास अंसारी ने 2022 के विधानसभा चुनाव के बाद समाजवादी पार्टी के सत्ता में आने पर राज्य सरकार के अधिकारियों को परिणाम भुगतने की धमकी दी थी। इसका वीडियो भी सोशल मीडिया पर वायरल हुआ था।
बुलडोजर बाबा के अफसरों को मुख्तार के बेटे की धमकी: मुख्तार अंसारी का बेटा अब्बास मऊ से चुनाव लड़ रहा है। वह कह रहा है कि अखिलेश भैया से कह आया हूं, सरकार बनती है तो यहां के किसी भी अधिकारी का अगले 6 माह तक तबादला नहीं होगा। पहले हिसाब किताब होगा। फिर तबादला होगा।#UPElections pic.twitter.com/bHbGMNVQni
— Krishna Mohan Tiwari (@tiwarikrishna05) March 4, 2022
इस मामले में सुनवाई के बाद, मऊ की विशेष एमपी/एमएलए अदालत ने अब्बास अंसारी को आईपीसी की धारा 153-ए (विभिन्न समूहों के बीच वैमनस्य बढ़ाना) और धारा 189 (लोक सेवक को चोट पहुंचाने की धमकी) के तहत दो-दो साल कैद की सजा सुनाई थी।
अब्बास को धारा 506 के तहत एक साल और धारा 171-एफ के तहत छह महीने कैद की सजा सुनाई गई थी। विशेष अदालत ने सभी सजाएं एक साथ काटने का आदेश दिया था। वहीं, दो हज़ार रुपये का जुर्माना भी लगाया गया था। भाषण के दौरान मंच पर मौजूद अब्बास अंसारी के चुनाव एजेंट मंसूर अंसारी को भी इस मामले में दोषी ठहराया गया और उन्हें छह महीने की सजा सुनाई गई।
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इस फैसले के खिलाफ अब्बास अंसारी की अपील मऊ के विशेष अपर सत्र न्यायाधीश के समक्ष लंबित है। इसके साथ ही, अंसारी ने सजा निलंबित करने का भी आवेदन दिया था, जिसे 5 जुलाई को खारिज कर दिया गया था। इसी आदेश के खिलाफ उन्होंने यह पुनरीक्षण याचिका दायर की थी। हाईकोर्ट ने याचिका स्वीकार कर ली है और 5 जुलाई के आदेश को रद्द कर दिया है।
जानकारी के लिए आपको बता दें कि ‘हाता’ माफिया से नेता बने दिवंगत मुख्तार अंसारी के गाजीपुर स्थित निवास का नाम है। जहां अब अब मुख्तार के बेटे अब्बास अंसारी और उमर अंसारी परिवार के साथ रहते हैं।