सीजेआई भूषण गवई (सौ. सोशल मीडिया )
Thane News In Hindi: सुप्रीम कोर्ट के मुख्य न्यायाधीश भूषण गवई पर पिछले दिनों अदालत कक्ष में अधिवक्ता राकेश किशोर तिवारी ने जूता फेंकने की कोशिश की। इस कृत्य को संविधान पर हमला बताते हुए आंबेडकर बादी संगठनों ने जिलाधिकारी कार्यालय स्थित बाबासाहेब आंबेडकर की प्रतिमा के समक्ष विरोध प्रदर्शन किया।
वक्ताओं की तरफ से कहा गया कि राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ शुरू से ही संविधान का विरोध करता रहा है। संघ से जुड़े राकेश तिवारी ने अपनी शिक्षाओं के कारण यह कृत्य किया है। इस दौरान संघ पर प्रतिबंध लगाने की भी मांग की गई।
इसके पहले राजाभाऊ चव्हाण व भास्कर वाघमारे ने ठाणे नगर पुलिस स्टेशन में लिखित शिकायत दर्ज कराई। आरपीआई एकतावादी के राष्ट्रीय अध्यक्ष नानासाहेब इंदिसे ने कहा कि मुख्य न्यायाधीश देश की न्यायिक प्रक्रिया में सर्वोच्च पद हैं। उन पर जूता फेंकने की कोशिश से यह स्पष्ट है कि अगर वह सुरक्षित नहीं हैं, तो देश का कोई भी नागरिक सुरक्षित नहीं है।
उन्होंने आरोप लगाया कि राकेश तिवारी ने यह कृत्य इसलिए किया क्योंकि वह बौद्ध समाज से आते हैं। जबकि आरपीआई के भास्कर वाघमारे ने कहा कि जब मुख्य न्यायाधीश भूषण गवई महाराष्ट्र आए थे तब राज्य सरकार ने उन्हें प्रोटोकॉल नहीं दिया। इससे पता चलता है कि इन लोगों को यह स्वीकार नहीं है कि एक पिछड़े वर्ग का व्यक्ति सर्वोच्च पद पर बैठा है। उक्त अवसर पर राजाभाऊ चव्हाण ने कहा कि खजुराहो विष्णु मूर्ति के लिए ऐसा करके मानवतावादियों ने संविधान को ही दबाने की कोशिश की है। आंदोलन में भदंत शीलकीर्ति, संजय नं। गो। जगदीश खैरालिया, उन्मेश बागवे, भैय्यासाहेब इंदिसे, जितेंद्रकुमार इंदिसे, संदीप खांबे, सुखदेव उबले, प्रह्लाद मगरे, कैलास हवले, प्रमोद इंगले, विमल सातपुते, सुमन इंगले, तात्याराव झेंडे, एड। गौरेश इंदिसे, मिलिंद सातदिवे सहित अन्य उपस्थित थे।
वकील राकेश किशोर ने सुप्रीम कोर्ट के मुख्य न्यायाधीश भूषण गवई घर जूता फेंकने की कोशिश की। यह चौंकाने वाली घटना 6 अक्टूबर को सुप्रीम कोर्ट में हुई थी। इसके बाद पूरे देश में हड़कंप मच गया, यह घटना अभी ताजा ही थी कि अब एक और सनसनीखेज मामला सामने आया है। मुख्य न्यायाधीश भूषण गवई के खिलाफ एआई का इस्तेमाल करके एक आपत्तिजनक और मानहानिकारक वीडियो बनाया गया है।
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इस वीडियों को सोशल मीडिया पर वायरल करने के आरोप में पनवेल तालुका पुलिस स्टेशन में एक युवक के खिलाफ मामला दर्ज किया गया है। पुलिस द्वारा दी गई जानकारी के अनुसार, आरोपी ने एआई तकनीक का दुरुपयोग करके मुख्य न्यायाधीश भूषण गवई के बारे में अपमानजनक वीडियो बनाया। इस वीडियों में उनके झूठे बयानों का हवाला देकर इसे सोशल मीडिया पर प्रसारित किया गया, प्रारंभिक जांच में पाया गया है कि वीडियी में ऐसी सामग्री है, जो न्यायपालिका को बदनाम करेंगी।