बिजली गुल (फाइल फोटो)
Nashik News: नाशिक जिले में लगातार हो रही भारी बारिश ने महाराष्ट्र स्टेट इलेक्ट्रिसिटी डिस्ट्रीब्यूशन कंपनी लिमिटेड (महावितरण) को भारी नुकसान पहुंचाया है। तेज बारिश और आंधी-तूफान के चलते 640 उच्च और निम्न दाब के खंभे गिर गए, 63 बिजली की तारें टूट गईं और 53 ट्रांसफॉर्मर खराब हो गए। महावितरण के बुनियादी ढांचे को कुल मिलाकर 1.02 करोड़ से अधिक का नुकसान हुआ है, जिसकी वजह से जिले के कई हिस्सों में बिजली आपूर्ति बाधित हो गई।
पिछले कई दिनों से जारी मूसलाधार बारिश ने नाशिक में हाहाकार मचा दिया है। 15 तहसीलों में फसलों को भारी नुकसान हुआ है, जबकि सैकड़ों घर ढह गए। बागलाण तहसील में दीवार गिरने से 3 लोगों की मौत हो गई। बांधों से भारी मात्रा में पानी छोड़े जाने से नदियां उफान पर आ गईं। एक ही दिन में 117 में से 98 राजस्व मंडलों में अतिवृष्टि दर्ज की गई।
सितंबर में पेश की गई महावितरण की रिपोर्ट के अनुसार, बारिश के कारण 202 उच्च दबाव वाले खंभे और 438 निम्न दबाव के खंभे गिर गए, जिससे करीब 54 लाख का नुकसान हुआ। आंधी-तूफान में कई पेड़ उखड़कर बिजली तंत्र पर गिरे, जिससे 20 उच्च दबाव और 43 निम्न दबाव की तारें टूट गईं।
इसके अलावा, 12 निम्न दबाव ट्रांसफॉर्मर गिर गए या झुक गए, जबकि 7 उपकेंद्र उपकरण भी खराब हो गए। सबसे ज्यादा प्रभावित इलाके नांदगांव (102 खंभे), बागलाण (57), येवला (58), त्र्यंबकेश्वर (43), मालेगांव (44), पेठ (43), चांदवड (79), निफाड (85), सिन्नर (35), दिंडोरी (26), सुरगाणा (21), इगतपुरी (26) और नाशिक तालुका (5 खंभे) रहे।
यह भी पढ़ें- नासिक में बाढ़ का कहर: 70 साल पुराने रामसेतु की टूटी रेलिंग, मंत्री ने दिया नया पुल बनने का आदेश
महावितरण के कर्मचारी बिजली आपूर्ति बहाल करने के लिए लगातार मेहनत कर रहे हैं। शहरी क्षेत्रों में गिरे हुए पेड़ और क्षतिग्रस्त वितरण तंत्र की वजह से बार-बार बिजली गुल हो रही है, जबकि ग्रामीण इलाकों में कई दिनों तक सप्लाई बाधित रही।