जेल में कैदी की संदिग्ध मौत से मचा बवाल। (सौजन्यः सोशल मीडिया)
नागपुर: सेंट्रल जेल में बंद एक कैदी की मौत को लेकर बवाल मचा हुआ है। परिजनों ने जेल प्रशासन पर मारपीट का आरोप लगाया और कहा कि इसी वजह से उसकी मृत्यु हुई। वहीं जेल प्रशासन का कहना है कि वह बीमार था और उपचार के दौरान मृत्यु हुई। मृतक समतानगर निवासी सुमित उर्फ टिप्या नरेंद्र साखरे (21) बताया गया। सुमित के खिलाफ आपराधिक मामले दर्ज थे। होली के पूर्व 9 मार्च को कपिलनगर पुलिस ने उसे आर्म्स एक्ट के मामले में गिरफ्तार किया था। तब से वह जेल में था।
परिजनों का कहना है कि सुमित के साथ जेल में मारपीट हो रही थी। उसे बेरहमी से मारा जा रहा था। परिजनों से फोन पर बातचीत करते समय उसने यह जानकारी दी थी। 21 मार्च को उसकी तबीयत बिगड़ने की सूचना परिजनों को मिली। 22 मार्च को मेडिकल अस्पताल के डॉक्टरों ने उसे मृत घोषित कर दिया। धंतोली पुलिस ने आकस्मिक मृत्यु का मामला दर्ज किया।
परिजनों ने जेल प्रशासन की मारपीट के कारण उसकी मृत्यु होने का आरोप लगाया। मेडिकल के शवविच्छेदन कक्ष में परिजनों ने उसके शव की जांच की तो छाती, पसली और सिर पर चोट के निशान दिखाई दिए। परिजनों ने पोस्टमार्टम के दौरान उपस्थित रहने की अनुमति मांगी लेकिन उन्हें लौटा दिया गया।
इसीलिए परिजनों ने पीएम होने के बाद भी शव लेने से इनकार कर दिया। उनकी मांग है कि मामले की उच्च स्तरीय जांच होनी चाहिए। तभी सुमित की मृत्यु का कारण पता चलेगा। वैसे जेल में कैदी की मौत होने पर न्याय दंडाधिकारी द्वारा जांच की जाती है। धंतोली पुलिस के अनुसार सुमित की पोस्टमार्टम रिपोर्ट नहीं आई है। रिपोर्ट में मृत्यु का कारण पता चल पाएगा।
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वहीं परिजनों का कहना है कि जब तक उन्हें न्याय नहीं मिलता, सुमित का अंतिम संस्कार नहीं किया जाएगा। 2 दिनों से सुमित का शव मेडिकल अस्पताल के शवविच्छेदन कक्ष में रखा है। परिजन सोमवार को न्यायालय भी गए थे। पुलिस और जेल प्रशासन पर गंभीर आरोप लगाए लेकिन उनका पक्ष रखने वाला कोई नहीं था।
इस संबंध में जेल एसपी वैभव आगे ने बताया कि सुमित को शराब की लत थी। इसकी वजह से उसका लीवर भी डैमेज हुआ था। इसी बीच उसे हेपाटाइटिस भी हुआ। 19 मार्च को तबीयत खराब होने पर उसे जेल के ही अस्पताल में भर्ती किया गया। 2 दिन तक उसका उपचार चला। 21 मार्च को स्थिति ज्यादा खराब होने के कारण मेडिकल अस्पताल में भर्ती किया गया।
22 मार्च को डॉक्टर ने उसे मृत घोषित किया। जेल में उसके साथ किसी प्रकार की मारपीट नहीं हुई। न ही अन्य किसी कैदी द्वारा उसे नुकसान पहुंचाया गया। प्रकरण की जांच न्याय दंडाधिकारी द्वारा की जाती है। फिलहाल हार्ट अटैक होने की जानकारी मिली है। पीएम रिपोर्ट में उसकी मृत्यु का कारण स्पष्ट हो जाएगा।