सुपर स्पेशियलिटी के 4 विभाग (सौजन्य-नवभारत)
Super Specialty Hospital PG Seats: मध्य भारत के एकमात्र शासकीय सुपरस्पेशलिटी हॉस्पिटल की शुरुआत स्नातकोत्तर वैद्यकीय संस्थान के तौर पर की गई थी लेकिन पिछले कई वर्षों तक संस्था केवल स्वास्थ्य सेवा का केंद्र बनी रही। बाद में 3 विभागों में स्नातकोत्तर की सीटें मिलीं। अब 4 और विभागों को स्नातकोत्तर की सीटें मिलने का रास्ता साफ हो गया है।
नेशनल मेडिकल कमीशन द्वारा निरीक्षण के बाद जल्द ही 4 विभागों को सीटें मिलेंगी। इसके साथ ही सुपरस्पेशलिटी स्नातकोत्तर को शैक्षणिक संस्था का दर्जा भी प्राप्त हो जाएगा। वर्तमान में सुपरस्पेशलिटी हॉस्पिटल में कार्डियोलॉजी विभाग में स्नातकोत्तर की 4 सीटें हैं। वहीं गेस्ट्रोएंटरोलॉजी में 2 और न्यूरोसर्जरी में 4 सीटें उपलब्ध हैं।
अब एंडोक्राइनोलॉजी, सीवीटीएस, पल्मोनरी मेडिसिन और यूरोलॉजी विभाग में क्रमश: 2-2 सीटें मिलने वाली हैं। इसके लिए संबंधित विभागों का निरीक्षण पूरा हो गया है। इन 4 विभागों के साथ ही अब संस्था के 7 विभागों में स्नातकोत्तर की सीटें उपलब्ध हो जाएंगी। इसके साथ ही सुपर पूरी तरह से शैक्षणिक संस्था बन जाएगी।
अब तक सुपर में सोनोग्राफी और सिटी स्कैन की सुविधा थी लेकिन अब एमआरआई मशीन भी उपलब्ध हो गई है। करीब महीने के भीतर इसकी शुरुआत हो जाएगी। इसके बाद सुपर में ही तीनों टेस्ट हो सकेंगे। मरीजों को मेडिकल में नहीं भेजा जाएगा। इससे मेडिकल की प्रतीक्षा सूची कम होगी। साथ ही मरीजों का यथासमय इलाज हो सकेगा। इसके साथ ही रेडियोलॉजी विभाग की क्षमता भी बढ़ जाएगी।
वर्तमान में सोनोग्राफी ओपीडी के सामने वाले हिस्से में होती है लेकिन जब सिटी स्कैन, सोनोग्राफी और एमआरआई के लिए पृथक व्यवस्था हो जाएगी तो मौजूदा सोनोग्राफी विभाग खाली हो जाएगी। इस हालत में इस जगह पर ओपीडी के विस्तार की योजना है। मौजूदा ओपीडी मरीजों की बढ़ती भीड़ की वजह से कम पड़ने लगी है। मेडिकल प्रशासन द्वारा कुछ ही महीनों में सुपरस्पेशलिटी की ओपीडी का विस्तार किया जाएगा।
नये कार्यों के तहत सुपरस्पेशलिटी के चौथी मंजिल पर ट्रांसप्लांट ऑपरेशन थियेटर बनाया गया है। वहीं तीसरी मंजिल में भी ऑपरेशन थियेटर बनाये गये हैं। आधुनिक सुविधाओं से लैस इन ऑपरेशन थियेटर में ट्रांसप्लांट के साथ ही अन्य ऑपरेशन भी हो सकेंगे।
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इससे मरीजों को ओटी खाली होने की प्रतीक्षा नहीं करना पड़ेगा। समय पर ऑपरेशन हो सकेगा। इसी तरह पहली मंजिल पर कैथलैब और कार्डियोलॉजी आईसीसीयू बनाया गया है। इसका काम भी पूरा हो गया है। आधुनिक लुक के साथ ही सुपर में व्यापक सुधार हो रहा है।
नये विस्तारीकरण से मरीजों को और बेहतर सुविधा मिल सकेगी। शासकीय स्तर पर मध्य भारत की एकमात्र संस्था होने से अधिकाधिक मरीज लाभ उठा सकेंगे। न्यूक्लियर मेडिसिन विभाग के पास परिजनों के ठहरने के लिए शेड बनाया गया है। इससे परिजनों को राहत मिलेगी। सी-2 विंग का काम भी शुरू हो गया है।
– नवभारत लाइव पर नागपुर से दिनेश टेकाड़े की रिपोर्ट