कार्यक्रम को संबोधित करते हुए विधायक कृष्णा खोपड़े (फोटो-नवभारत)
नागपुर: विधायक कृष्णा खोपड़े ने कहा कि आज का युवा ही देश का संरचनात्मक और कार्यात्मक ढांचा है। प्रत्येक देश की तरक्की का आधार उसकी युवा पीढ़ी होती है, जिसकी उपलब्धियों से उस राष्ट्र का विकास होता है। राष्ट्र का भविष्य युवाओं के सर्वांगीण विकास में निहित है। आज नागपुर को देश में विकास के मॉडल के रूप में पहचाना गया है। 10 वर्ष में शहर की सूरत बदल गई है। विश्वस्तरीय शिक्षण संस्थान आ गये हैं। उद्योगों की नींव रखी जा रही है। इससे बड़े पैमाने पर रोजगार सृजन हो रहे हें। हम टेक्नोलॉजी में भी आगे बढ़ रहे हैं। आने वाले अवसरों का लाभ उठाने के लिए तैयार हो जाइए, आने वाला युग युवाओं का है।
विधायक कृष्णा खोपड़े बतौर विशेष अतिथि के रूप में महाराष्ट्र सड़क विकास महामंडल प्रस्तुत नवभारत ‘महाराष्ट्र की समृद्धि एवं सामाजिक उत्कर्ष सम्मेलन’ में स्टूडेंट्स को संबोधित कर रहे थे। शनिवार को झांसी रानी चौक स्थित विदर्भ हिंदी साहित्य सम्मेलन के हॉल में आयोजित सम्मेलन में ‘महाराष्ट्र की समृद्धि’ पर बड़ी चर्चा हुई। इस अवसर पर महाज्योति के उपसंचालक प्रशांत वावगे, सारथी के सह व्यवस्थापकीय संचालक सुरेश बगले, लिडकॉम के जिला व्यवस्थापक सुरेश ढगे, बार्टी के सहायक प्रकल्प व्यवस्थापक अनिल वालके व जिला सूचना अधिकारी विनोद रापतवार सहित शहर के सभी हिस्सों से छात्रों की बड़ी संख्या में उपस्थिति रही।
नवभारत ‘महाराष्ट्र की समृद्धि एवं सामाजिक उत्कर्ष सम्मेलन’ (फोटो-नवभारत)
पहले शिक्षा की चाहत के बावजूद छात्र आर्थिक कारणों से पिछड़ रहे थे। पिछले ढाई साल में मुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे के नेतृत्व वाली सरकार ने सामाजिक न्याय पर जोर दिया है। सामाजिक समृद्धि के लिए कई जीआर जारी किए हैं। लड़कियों के लिए उच्च शिक्षा पूरी तरह निःशुल्क कर दी गई है। विभिन्न योजनाओं के माध्यम से कमजोर वर्ग के बच्चों को भी उनकी इच्छानुसार शिक्षा प्राप्त करने के लिए प्रोत्साहित किया जा रहा है। इस शहर ने कई नेता दिये हैं, जिसमें कोई मंत्री, तो कोई सांसद व विधायक है। लेकिन आज 10 वर्ष पहले शहर का किसी तरह का विकास नहीं हुआ था, लेकिन 2014 में नरेंद्र मोदी के प्रधानमंत्री बनने के बाद स्थिति बदलनी शुरू हुई।
वहीं इन 10 वर्षों में यहां पर केंद्रीय मंत्री नितिन गडकरी व उप मुख्यमंत्री देवेन्द्र फडणवीस के नेतृत्व में नागपुर सहित पूरे राज्य में परिवर्तन आया है। खोपड़े ने कहा कि विद्यार्थियों को भी अपना लक्ष्य निर्धारित कर राज्य और देश के विकास में योगदान देने की जरूरत है। युवाओं में इच्छाशक्ति होनी बहुत जरूरी है। इच्छाशक्ति रही, तो युवा कुछ भी कर सकता है और अपने शहर, देश और राज्य का नाम भी रोशन कर सकता है। वह नेता, इंजीनियर, डाक्टर सहित कुछ भी बन सकता है।
विधायक कृष्णा खोपड़े (फोटो-नवभारत)
उन्होंने कहा कि मोबाइल बच्चों के करियर में अवरोधक है। बच्चों को मोबाइल में केवल सीखने लायक चीजें लेनी चाहिए। बाकी इससे अपने से दूर रखना चाहिए। मोबाइल 50% जहां अच्छा है, वहीं 50% नुकसानदायक भी है। जब तक शिक्षक पढ़ाते समय अपने पास से मोबाइल दूर नहीं रखेंगे, तब तक बच्चों पर उसका प्रभाव नहीं पड़ेगा। स्कूल में पढ़ाई के दौरान बच्चों व शिक्षक दोनों को मोबाइल को अलग रख देना चाहिए। आज हर माता-पिता चाहते हैं कि उनका बच्चा पढ़ लिखकर कुछ नाम करे। वे आर्थिक परिस्थितियों का सामना करते हुए बच्चों को पढ़ाते हैं। बच्चों को भी अपने माता-पिता की मेहनत, त्याग व समर्पण को देखते हुए उनके सपनों को साकार करना चाहिए।
विधायक मोहन मते ने कहा कि जहां दुनिया भर में भारत की प्रतिष्ठा बढ़ रही है, वहीं देश में राजनीतिक स्थिति भी बदल रही है। विकास मॉडल को किनारे कर जातिवादी मॉडल खड़ा करने की कोशिश की जा रही है। देश में संविधान की बात करने वाले अमेरिका जाकर आरक्षण खत्म करने की बात करते हैं। लेकिन लोग इस पर ध्यान नहीं देते। मते ने अपील की कि यह चिंताजनक स्थिति है और युवाओं को ही इस बारे में सोचना चाहिए। जबकि जम्मू-कश्मीर देश का अभिन्न अंग है, वहां अलग संविधान लागू होता है। धारा 370 हटाकर देश में एक संविधान लागू किया गया है। उस वक्त बड़ा विरोध हुआ था। लेकिन मते ने बताया कि इस बदलाव के बाद से कश्मीर में बड़ा परिवर्तन आया है।