
कांग्रेस प्रवक्ता अतुल लोंडे के खिलाफ की शिकायत दर्ज। (सौजन्यः सोशल मीडिया)
नागपुर: मुख्यमंत्री देवेंद्र फडणवीस और राज्य सरकार पर झूठे आरोप लगाकर तनाव की स्थिति निर्माण करने वाले के खिलाफ सख्त कार्रवाई करने की मांग को लेकर शहर भाजपा के पदाधिकारी और कार्यकर्ताओं ने शुक्रवार को गणेशपेठ थाने में शिकायत की। इस संदर्भ में वरिष्ठ पुलिस निरीक्षक को ज्ञापन भी सौंपा। ज्ञापन में भाजपा शहर अध्यक्ष बंटी उर्फ जितेंद्र कुकड़े ने बताया कि छत्रपति शिवाजी महाराज और संभाजी महाराज पर टिप्पणी करने वाला कथित पत्रकार प्रशांत कोरटकर को गिरफ्तार किया गया, तब मुख्यमंत्री कार्यालय में कार्यरत प्रतीक पडवेकर नामक व्यक्ति भी कोरटकर के साथ था।
इस बात का खुलासा करने की मांग भारतीय राष्ट्रीय कांग्रेस के प्रवक्ता अतुल लोंढ़े पाटिल ने एक टीवी चैनल को दी गई मुलाकात में किया, जबकि वास्तविकता यह है कि पडवेकर नाम का कोई भी व्यक्ति मुख्यमंत्री के कार्यालय में कार्यरत नहीं है। अतुल लोंढ़े ने जानबूझकर झूठी जानकारी देकर मुख्यमंत्री फडणवीस को बदनाम करने की साजिश की है, इसलिए उनके खिलाफ सख्त से सख्त कार्रवाई करने की मांग शहर भाजपा प्रतिनिधिमंडल द्वारा की गई।
छत्रपति शिवाजी महाराज और छत्रपति संभाजी महाराज के बारे में अभद्र टिप्पणी करने वाले प्रशांत कोरटकर के मामले में मुख्यमंत्री देवेंद्र फडणवीस पर आरोप लगाने वाले कांग्रेस प्रवक्ता अतुल लोंढ़े के खिलाफ भाजपा ने आक्रामक रुख अपनाया है। लोंडे ने निराधार आरोप लगाकर मुख्यमंत्री को बदनाम किया है। भाजपा नगर अध्यक्ष बंटी कुकड़े ने उनके खिलाफ मामला दर्ज करने की मांग की है। भाजपा प्रतिनिधिमंडल ने गणेशपेठ पुलिस स्टेशन में शिकायत दर्ज कराई।
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प्रशांत कोरटकर फिलहाल कोल्हापुर पुलिस की हिरासत में है। एक महीने की अवधि में, यह पता लगाया गया कि वह वास्तव में किसके साथ था, किसने उसकी मदद की, वह किन वाहनों में यात्रा करता था, आदि। उसने पुलिस को उन लोगों के बारे में जानकारी दी जिन्होंने उसकी मदद की थी। इन 5 लोगों में प्रशांत पडवेकर, धीरज चौधरी, हिक्जात अली और राजू के नाम सामने आए हैं।
शुक्रवार को मीडिया से बात करते हुए लोंढ़े ने दावा किया कि पडवेकर मुख्यमंत्री कार्यालय का व्यक्ति है और वह कोरटकर के साथ था। उन्होंने मुख्यमंत्री कार्यालय से इस पर स्पष्टीकरण देने की भी मांग की। लोंढ़े को पता था कि पडवेकर मुख्यमंत्री कार्यालय का व्यक्ति नहीं है। हालाँकि, उन्होंने जानबूझकर आरोप लगाए और इस तरह सामाजिक विभाजन पैदा करने की कोशिश की। कुकड़े ने मांग की कि उनके खिलाफ मामला दर्ज किया जाए। प्रवीण दटके, महासचिव गुड्डू त्रिवेदी, राम अम्बुलकर, श्रीकांत अगलावे, अर्चना देहानकर मुख्य रूप से उपस्थित थे।






