नागपुर में सीएम देवेंद्र फडणवीस (सौजन्य-IANS)
CM Devendra Fadnavis on Malegaon Blast Verdict: महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री देवेंद्र फडणवीस आज (1 अगस्त) नागपुर दौरे पर है। इस दौरान सीएम देवेंद्र फडणवीस ने समाज सुधारक अन्ना भाऊ साठे को उनकी जयंती पर श्रद्धांजलि दी। इसके साथ ही उन्होंने आरएसएस प्रमुख मोहन भागवत के साथ मिलकर कविकुलगुरु कालिदास संस्कृत विश्वविद्यालय के अभिनव भारती अंतर्राष्ट्रीय परिसर में डॉ. केशव बलिराम हेडगेवार अंतर्राष्ट्रीय शैक्षणिक भवन का उद्घाटन किया।
अपने नागपुर दौरे के दौरान महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री देवेंद्र फडणवीस ने मालेगांव ब्लास्ट मामले पर आए फैसले पर अपनी प्रतिक्रिया दी। सीएम फडणवीस ने कहा, “2008 की साज़िश सबके सामने आ गई है। उस समय की सरकार ने वोट बैंक की राजनीति के लिए ‘हिंदू आतंकवाद’ और ‘भगवा आतंकवाद’ जैसे शब्द गढ़े थे।”
उन्होंने कहा, “उस समय दुनिया भर में बड़े पैमाने पर आतंकवादी घटनाएं हो रही थीं और ‘इस्लामिक आतंकवाद’ दुनिया भर में चर्चा का विषय था। इसके चलते वोटर्स में गुस्सा निर्माण न हो और अपने वोट बैंक को नाराज़ करने से बचने और संतुलन बनाए रखने का दिखावा करने के लिए उन्होंने ‘हिंदू आतंकवाद’ की थेअरी तैयार की गई, भ्रम फैलाया और लोगों को गिरफ़्तार किया और हिंदुत्ववादी और राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ के पदाधिकारियों को टार्गेट करने का षड़यंत्र था। लेकिन काफ़ी कोशिशों के बावजूद कोई ठोस सबूत नहीं मिला।”
#WATCH | Nagpur: Maharashtra Chief Minister Devendra Fadnavis says, “The conspiracy of 2008 has been exposed before everyone. The government at that time, for the sake of vote-bank politics, coined terms like ‘Hindu terror’ and ‘saffron terrorism.’ At that time, large-scale… pic.twitter.com/DVZ5lxO36E — ANI (@ANI) August 1, 2025
कांग्रेस पर आरोप लगाते हुए सीएम फडणवीस ने कहा, “कई अधिकारी ऐसे थे, जिन्होंने दबाव के बाद भी कहा कि हम ऐसा गैरकानूनी काम नहीं करेंगे। इनके खिलाफ कोई सबूत नहीं है। परत दर परत यह साज़िश सामने आ रही है। इस्लामी आतंकवाद था और आज भी है लेकिन ऐसा किसी ने नहीं कहा था कि सभी मुस्लिम आतंकवादी है। इसके बावजूद तमाम हिंदुओं को आतंकवादी ठहराने का प्रयास कांग्रेस ने उस समय किया था। यह उसी की कड़ी है। अब लोग बोलना शुरू करेंगे और इससे कड़ी सामने आएंगी।”
यह भी पढ़ें – Malegaon Blast: मृतकों के परिवार को 2 लाख रुपये का मुआवजा, कोर्ट का बड़ा ऐलान
आपको जानकारी दें, कि बीते दिन 31 जुलाई को एनआईए की विशेष अदालत ने 2008 के मालेगांव ब्लास्ट मामले में अपना फैसला सुनाया था। 17 साल बाद इस फैसले में कोर्ट ने सभी 7 आरोपियों को बरी करने का फैसला सुनाया था। कोर्ट ने कहा था कि इन सभी के खिलाफ कोई भी पुख्ता सबूत नहीं है और शक के आधार पर किसी को गुनहगार साबित नहीं किया जा सकता।
इन आरोपियों में भाजपा सांसद साध्वी प्रज्ञा सिंह ठाकुर, मेजर रमेश शिवजी उपाध्याय (सेवानिवृत्त), समीर शरद कुलकर्णी, अजय एकनाथ राहिरकर, लेफ्टिनेंट कर्नल प्रसाद श्रीकांत पुरोहित, सुधाकर उदयभान धर द्विवेदी उर्फ दयानंद पांडे और सुधाकर ओंकारनाथ चतुर्वेदी का नाम शामिल था।