
दंपति को पुत्र प्राप्ति (सौजन्य-नवभारत)
Naxal Couple Surrender: इस वर्ष 1 जनवरी 2025 को नक्सलियों के राही दलम के डीवीसीएम रहे अर्जुन उर्फ सागर उर्फ सुरेश तानू हिचामी व उसकी पत्नी डिके जोन डाक्टर टीम की एसीएम सम्मी उर्फ बंडी पांडू मट्टामी ने राज्य के मुख्यमंत्री तथा गृहमंत्री देवेंद्र फडणवीस के समक्ष आत्मसमर्पण कर विकास की मुख्य धारा में आए थे।
विकास के मुख्य धारा में लौटने के एक वर्ष में ही उनके ‘नवजीवन’ की भी शुरुआत हुई है। क्योंकि, आत्मसमर्पित इस दंपति को पुत्ररत्न प्राप्त हुआ है। इस वर्ष 1 जनवरी को वरिष्ठ डिकेएसजेडसीएम तारक्का समेत अन्य 10 नक्सली सदस्यों ने राज्य के मुख्यमंत्री तथा गृहमंत्री देवेंद्र फडणवीस के समक्ष आत्मसमर्पित किए गए थे।
आत्मसमर्पण करने वाले कुल 12 नक्सली सदस्यों में पति-पत्नी होने वाले अर्जुन उर्फ सागर उर्फ सुरेश तानू हिचामी (32) व सम्मी उर्फ बंडी पांडू मट्टामी (25) का समावेश था। अर्जुन उर्फ सुरेश हिचामी यह नक्सलियों के राही दलम में डिवीसीएम पद पर कार्यरत था।
वहीं केंद्रीय समिति सदस्य सोनु उर्फ भूपति का बॉडीगार्ड था। वहीं उसकी पत्नी नक्सलियों के डीके जोन डाक्टर टीम के एसीएम पद पर थी। इन दोनों ने मुख्यमंत्री के समक्ष हथियार रखते हुए विकास की धारा में लौटे थे। आत्मसमर्पण के बाद इस दंपति को आम पारिवारिक जीवनयापन करना संभव हो पाया।
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आज सम्मी उर्फ बंडी पांडू मट्टामी की गड़चिरोली के जिला महिला अस्पताल में प्रसूती हुई। उन्हें पुत्ररत्न प्राप्त हुआ है। जिससे इस दंपति के जीवन को नई दिशा मिलने वाली है। इन नक्सलि दंपति को गड़चिरोली पुलिस दल की ओर से केंद्र व राज्य सरकार के विभिन्न योजना का लाभ दिया गया। इसमें उनके व्यक्तिगत पहचान के तौर पर आधार कार्ड, पैन कार्ड जैसे पहचान पत्र बनाएं गए।
वहीं स्वावलंबी जीवनयापन करने के लिए उन्हें बैंक अकाउंट, ई-श्रम कार्ड व ड्राइविंग लाइसेंस का लाभ भी दिलाया गया। केंद्र व राज्य सरकार से पुनर्वसन के लिए एकजुट रूप से 16.3 लाख रुपये की निधि दिलायी गयी है। अर्जुन व सम्मी को जिला पुलिस अधीक्षक नीलोत्पल ने शुभकामनाएं दी है।






