याबा ने बढ़ाई बांग्लादेश की टेंशन (फोटो- सोशम मीडिया)
ढाका: अगस्त 2024 में बांग्लादेश में शेख हसीना के तख्तापलट के बाद से ही देश के हालात खराब चल रहे हैं। शेख हसीना के देश छोड़ने के बाद से ही क्राइम रेट अपने चरम पर पहुंच गया है। यहां नशा, चोरी और तस्करी आम बात हो गई है। बांग्लादेश की सीमा सुरक्षा पर तस्करों ने सेंध लगा दी है और इन दिनों वहां नशे का सामान लोगों तक बड़ी आसानी से पहुंचाया जा रहा है। इसी बीच याबा कैप्सूल बांग्लादेश में चर्चा का विषय बना हुआ है, जिसका कनेक्शन म्यांमार और रोहिंग्या मुस्लिम समुदाय से है।
म्यांमार इस वक्त हिंसा की चपेट में है। देश के कई हिस्सों में म्यांमार मिलिट्री जुंटा सरकार और विद्रोही गुटों के बीच युद्ध अभी भी जारी है। इसके अलावा म्यांमार के रखाइन राज्य में 80 फीसद हिस्सा सशस्त्र समूह अराकान आर्मी (AA) के नियंत्रण में है। इन इलाकों में रोहिंग्या सशस्त्र समूहों और कुछ अराकान सेना भी आपस में क्षेत्र में नियंत्रण के लिए संघर्ष कर रहे हैं। रखाइन म्यांमार का एक तटीय राज्य है जहां से बड़ी ही आसानी से समुद्र मार्ग के जरिए बांग्लादेश में प्रवेश किया जा सकता है। इसका फायदा बांग्लादेश में नशीले पदार्थों और पशु तस्करी करने वाले तस्कर उठा रहे हैं और वहां याबा की तस्करी कर रहे हैं, जिसकी मांग बांग्लादेश में दिन-प्रतिदिन बढ़ती ही जा रही है।
अराकान से लगातार बांग्लादेश में नशीले पदार्थों और टैबलेट की तस्करी हो रही है। इस पर रोक लगाने के लिए बांग्लादेश कोस्ट गार्ड (BCG) ने एक अभियान भी चलाया है। पिछले गुरुवार को बीसीजी ने टेकनाफ सदर यूनियन के हबीरछारा इलाके में छापा मारा और याबा गोलियों के 3 लाख से ज्यादा बैग बरामद किए। हालांकि, इस दौरान किसी भी तस्कर को गिरफ्तार नहीं किया जा सका।
बीसीजी के मीडिया अधिकारी लेफ्टिनेंट कमांडर हारुन और रशीद ने बताया कि दो लोग देर रात म्यांमार से समुद्र के रास्ते लाई गई याबा की खेप को अपने कंधों पर उठाकर मरीन ड्राइव के जरिए उतारने की कोशिश कर रहे थे। जब तटरक्षक बल के सदस्यों ने दोनों व्यक्तियों को रुकने का संकेत दिया, तो वे याबा से भरे बोरे छोड़कर भागने में सफल हो गए। जब्त किए गए याबा का मूल्य 16 करोड़ टका है।
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याबा टेबलेट, जिसे ‘क्रेजी ड्रग’ भी कहा जाता है, एक नशीला पदार्थ है। इसमें मेथामफेटामिन और कैफीन का मिश्रण होता है, जो इसे अत्यधिक नशीला और खतरनाक बनाता है। भारत में इस दवा पर पूर्ण रूप से प्रतिबंध है, क्योंकि यह स्वास्थ्य के लिए गंभीर खतरा उत्पन्न कर सकती है।