कुलभूषण खरबंदा को शाकाल से मिली पहचान
Kulbhushan Kharbanda Birthday Special Story: बॉलीवुड के अनुभवी और लोकप्रिय अभिनेता कुलभूषण खरबंदा का जन्म 21 अक्टूबर 1944 को पंजाब में हुआ। कुलभूषण खरबंदा आज अपना 81वां जन्मदिन मना रहे हैं। अभिनय की दुनिया में उन्होंने अपनी अलग पहचान बनाई और हर किरदार में जान फूंक दी। चाहे वह सपोर्टिंग रोल हो या विलेन का किरदार, उनकी एक्टिंग ने हमेशा दर्शकों को मंत्रमुग्ध किया।
कुलभूषण खरबंदा ने अपने करियर की शुरुआत कॉलेज के दिनों में की। दिल्ली यूनिवर्सिटी के किरोड़ीमल कॉलेज में पढ़ाई के दौरान वह नाटकों में हिस्सा लेने लगे। कॉलेज के बाद उन्होंने अपने दोस्तों के साथ मिलकर ‘अभियान’ नाम का थिएटर ग्रुप शुरू किया। थिएटर में लंबे समय तक काम करने के बाद उन्होंने फिल्मों में कदम रखने का फैसला किया।
बॉलीवुड में उनका डेब्यू 1974 की फिल्म ‘जादू का शंख’ से हुआ। इसके बाद उन्होंने श्याम बेनेगल की फिल्म ‘निशांत’ सहित ‘भूमिका’, ‘अर्थ’, ‘कलयुग’, ‘मैं जिंदा हूं’ और ‘नसीब’ जैसी कई महत्वपूर्ण फिल्मों में काम किया। उनकी बहुमुखी प्रतिभा और बेहतरीन अदाकारी ने हर भूमिका को यादगार बना दिया। सबसे ज्यादा सुर्खियां तब मिली, जब उन्होंने फिल्म ‘शान’ (1980) में विलेन शाकाल का किरदार निभाया।
अमिताभ बच्चन, शशि कपूर और शत्रुघ्न सिन्हा के बीच कुलभूषण खरबंदा का शानदार अभिनय दर्शकों के लिए यादगार बन गया। इसके अलावा, वेब सीरीज़ ‘मिर्जापुर’ में सत्यानंद त्रिपाठी उर्फ बाऊजी का किरदार निभाकर भी उन्होंने नया फैन फॉलोइंग बनाया। कुलभूषण का निजी जीवन भी उतना ही रोचक है। उन्होंने बॉलीवुड में कदम रखने से पहले ही शादी कर ली थी। कुलभूषण खरबंदा की पत्नी माहेश्वरी राजस्थान के प्रतापगढ़ के महाराजा राम सिंह की बेटी हैं। शादी से पहले माहेश्वरी पहले भी कोटा के महाराजा से विवाह कर चुकी थीं।
कुलभूषण का परिवार और व्यक्तिगत जीवन हमेशा उनके करियर के साथ तालमेल में रहा। कुलभूषण खरबंदा की यात्रा यह दिखाती है कि कैसे थिएटर से बॉलीवुड और वेब सीरीज़ तक का सफर तय किया जा सकता है। उनकी अभिनय शैली, चाहे विलेन की हो या सपोर्टिंग रोल की, हर समय उत्कृष्ट रही है। उनकी कहानी आने वाली पीढ़ियों के लिए प्रेरणादायक है और दर्शाती है कि मेहनत, समर्पण और जुनून से हर चुनौती को पार किया जा सकता है।