ओम बिड़ला ने की सदन की कार्यवाही स्थगित करने की घोषणा
नई दिल्ली: लोकसभा की कार्यवाही शुक्रवार को अनिश्चित कालीन के लिए स्थगित कर दी गई है। स्पीकर ओम बि़ड़ला ने बताया कि इस सत्र के दौरान वक्फ संशोधन विधेयक समेत कुल 16 बिल पारित किए गए। इसके साथ ही 31 जनवरी को शुरू हुआ बजट सत्र संपन्न हो गया। बिरला ने विपक्षी सदस्यों के शोरगुल और नारेबाजी के बीच कहा कि इस सत्र में 26 बैठकें हुईं और कुल उत्पादकता 118 प्रतिशत से अधिक रही।
उन्होंने कहा कि राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू के अभिभाषण पर धन्यवाद प्रस्ताव पर चर्चा में 173 सदस्यों ने भागीदारी की। सदन में केंद्रीय बजट पर चर्चा में 169 सदस्यों ने भाग लिया। वहीं सत्र के दौरान 10 सरकारी विधेयक पुर:स्थापित किए गए और वक्फ (संशोधन) विधेयक, 2025 सहित कुल 16 विधेयक पारित किए गए।
लोकसभा की कार्यवाही शुरू होने पर भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) के सदस्यों ने कांग्रेस संसदीय दल की प्रमुख सोनिया गांधी की एक टिप्पणी को लेकर उनसे माफी की मांग करते हुए हंगामा किया। विपक्षी सदस्यों ने अमेरिका के जवाबी शुल्क (टैरिफ) को लेकर सदन में हंगामा किया। सदन में हंगामे के बीच लोकसभा अध्यक्ष ने प्रश्नकाल शुरू कराया। महिला एवं बाल विकास मंत्री अन्नपूर्णा देवी अपने मंत्रालय से संबंधित एक पूरक प्रश्न का उत्तर देने के लिए खड़ी हुईं, तब भी भाजपा सदस्यों का हंगामा जारी रहा।
भाजपा सदस्य निशिकांत दुबे ने सोनिया गांधी का नाम लिये बिना कहा कि उन्होंने संसद का अपमान किया है। वह जब चाहती हैं संसद पर हमला करती हैं, राष्ट्रपति और उपराष्ट्रपति पर हमला करती हैं। कांग्रेस की पूर्व अध्यक्ष वर्तमान में राज्यसभा सदस्य हैं। इस दौरान भाजपा ने जमकर नारेबाजी की थी।
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इस बीच, विपक्षी सदस्यों ने प्रधानमंत्री जवाब दो’ और ‘प्रधानमंत्री सदन में आओ’ के नारे लगाए। नारेबाजी नहीं थमने पर बिरला ने पूर्वाह्न करीब 11 बजकर पांच मिनट पर सदन की कार्यवाही दोपहर 12 बजे तक के लिए स्थगित कर दी। कांग्रेस संसदीय दल (सीपीपी) की प्रमुख सोनिया गांधी ने बृहस्पतिवार को सरकार पर वक्फ (संशोधन) विधेयक को मनमाने ढंग से पारित कराने का आरोप लगाते हुए दावा किया था कि यह विधेयक संविधान पर सरेआम हमला है तथा यह समाज को स्थायी ध्रुवीकरण की स्थिति में बनाए रखने की भाजपा की सोची-समझी रणनीति का हिस्सा है।
इसके कुछ मिनट बाद ही बिरला ने सदन की कार्यवाही अनिश्चितकाल के लिए स्थगित कर दी। बजट सत्र के दौरान, लोकसभा द्वारा विभिन्न मंत्रालयों के लिए अनुदान की मांगों के साथ-साथ वित्त विधेयक को मंजूरी दिए जाने के साथ सरकार ने बजटीय प्रक्रिया संपन्न कर ली। राष्ट्रपति शासन के अधीन मणिपुर के लिए भी बजट को सदन ने मंजूरी प्रदान की।