कार के AC से हो सकती है परेशानी (सौ. Freepik)
Sleeping with AC on in Car: कार में सफर के दौरान थकान महसूस होने पर एसी चलाकर थोड़ी देर के लिए आंखें बंद कर लेना आम बात है, लेकिन यही आरामदायक नींद मौत का कारण भी बन सकती है। नोएडा के सेक्टर 62 में ऐसी ही एक दिल दहला देने वाली घटना सामने आई है, जिसमें एसी चलाकर कार में सो रहे एक कैब ड्राइवर और उसके दोस्त की दम घुटने से मौत हो गई।
रात में दोनों कैब में आराम कर रहे थे। जब ड्राइवर सुबह तक घर नहीं पहुँचा, तो घरवालों ने उसकी तलाश शुरू की। काफी तलाश के बाद जब कार का शीशा तोड़ा गया, तो दोनों मृत मिले। इस हादसे ने सबको झकझोर कर रख दिया है।
जब इंजन चल रहा होता है, तो कार्बन मोनोऑक्साइड गैस निकलती है। अगर एग्जॉस्ट सिस्टम में कोई रिसाव या तकनीकी खराबी हो, तो यह ज़हरीली गैस एसी वेंट के ज़रिए कार में प्रवेश कर जाती है। सोते समय व्यक्ति को इसका एहसास नहीं होता और गैस शरीर में प्रवेश कर ऑक्सीजन की आपूर्ति रोक देती है, जिससे दम घुटने से मौत हो सकती है।
अगर कार पूरी तरह से बंद हो और एसी चालू हो, तो अंदर की हवा बार-बार रीसायकल होती रहती है। साँस लेते समय व्यक्ति ऑक्सीजन अंदर लेता है और कार्बन डाइऑक्साइड बाहर छोड़ता है। बंद केबिन में ऑक्सीजन की मात्रा कम होने लगती है और कार्बन डाइऑक्साइड बढ़ती रहती है। इससे दम घुटने की स्थिति पैदा होती है जो जानलेवा हो सकती है।
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इसके अलावा, कार में सोते समय कुछ अतिरिक्त सावधानियां भी ज़रूरी हैं। बंद कार में कभी भी ज़्यादा देर तक अकेले न रहें, खासकर बंद खिड़कियों और चालू इंजन के साथ। अगर मौसम गर्म है और एसी चलाना ज़रूरी है, तो ताज़ी हवा आने के लिए बीच-बीच में दरवाज़े खोलते रहें। अगर सफ़र के दौरान कार में थकान महसूस हो, तो बेहतर होगा कि किसी सुरक्षित और खुली जगह पर रुककर थोड़ी सैर करें या किसी होटल/धर्मशाला जैसी जगह पर आराम करें।
इसके साथ ही, हमेशा सुनिश्चित करें कि आपके वाहन का एग्ज़्हॉस्ट सिस्टम, एसी फ़िल्टर और वेंटिलेशन सिस्टम ठीक से काम कर रहा हो, ताकि किसी भी तरह के गैस रिसाव या हवा की कमी की समस्या न हो। कार में पावर नैप लेने से पहले किसी सतर्क व्यक्ति को साथ रखें या परिवार को सूचित करें।