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कहां चूक गए डोनाल्ड ट्रंप? गाजा युद्ध रुकवाने के बाद भी क्यों नहीं मिला नोबेल, जानिए 5 कारण

Nobel Peace Prize: नोबेल शांति पुरस्कार वेनेजुएला की नेता मारिया कोरिना मचाडो को मिला, जबकि डोनाल्ड ट्रंप गाजा में शांति की कोशिशों के बावजूद यह सम्मान नहीं जीत सके। इसके पीछे कई महत्वपूर्ण कारण रहे।

  • By अक्षय साहू
Updated On: Oct 10, 2025 | 04:30 PM

डोनाल्ड ट्रंप (सोर्स- सोशल मीडिया)

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Nobel Prize 2025: नोबेल समिति ने शुक्रवार शांति को नोबेल पुरस्कार विजेता के नाम का ऐलान कर दिया। 2025 का नोबेल शांति पुरस्कार वेनेजुएला की प्रमुख विपक्षी नेता मारिया कोरिना मचाडो को दिया गया है। उन्हें यह सम्मान वेनेजुएला में लोकतांत्रिक अधिकारों की रक्षा और तानाशाही के खिलाफ संघर्ष के लिए दिया गया है।

अमेरिका के राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप को इसका एक मजबूत दावेदार माना जा रहा था। खासकर गाजा में शांति लाने की उनकी कथित भूमिका को देखते हुए कयास लगाए जा रहे थे कि उन्हें यह सम्मान मिल सकता है। लेकिन आखिरकार नोबेल समिति ने मचाडो को चुना, और ट्रंप यह पुरस्कार पाने से चूक गए। इसके पीछे कई अहम कारण रहे।

युद्ध रुकवाने के दावे और सच्चाई

ट्रंप ने दावा किया था कि उन्होंने अपने कार्यकाल के दौरान सात बड़े युद्धों को रोकने में भूमिका निभाई जिनमें भारत-पाकिस्तान, इजरायल-ईरान, कंबोडिया-थाईलैंड, और आर्मेनिया-अज़रबैजान के बीच संघर्ष शामिल थे। हालांकि, इन दावों को संबंधित देशों ने खारिज कर दिया। मसलन, भारत ने स्पष्ट किया कि पाकिस्तान के साथ किसी भी वार्ता में अमेरिका या ट्रंप की कोई भूमिका नहीं थी। कंबोडिया-थाईलैंड के बीच समझौता मलेशिया की पहल पर हुआ था।

गाजा नरसंहार पर चुप्पी

गाजा में इजरायली हमलों के दौरान ट्रंप की चुप्पी भी उनके खिलाफ गई। उन्होंने ना तो मानवीय संकट पर कोई सख्त बयान दिया, और ना ही राहत सामग्री की आपूर्ति में बाधा डालने पर इजरायल की आलोचना की। उनकी यह मौन स्वीकृति, और गाजा को हथियारों की आपूर्ति करना, शांति स्थापना के उनके दावों से मेल नहीं खाता।

BREAKING NEWS
The Norwegian Nobel Committee has decided to award the 2025 #NobelPeacePrize to Maria Corina Machado for her tireless work promoting democratic rights for the people of Venezuela and for her struggle to achieve a just and peaceful transition from dictatorship to… pic.twitter.com/Zgth8KNJk9
— The Nobel Prize (@NobelPrize) October 10, 2025

गाजा पुनर्निर्माण योजना पर विवाद

गाजा युद्ध के बाद ट्रंप ने इसके पुनर्निर्माण की जिम्मेदारी अपने दामाद जेरेड कुशनर और ब्रिटेन के पूर्व प्रधानमंत्री टोनी ब्लेयर को सौंपी है। दोनों पहले से ही विवादों में घिरे रहे हैं। इससे यह धारणा बनी कि ट्रंप की गाजा नीति मानवीय से ज्यादा राजनीतिक और व्यावसायिक हितों से प्रेरित थी।

यूक्रेन युद्ध में दोहरा रवैया

ट्रंप ने यूक्रेन और रूस के बीच चल रहे युद्ध को लेकर कभी रूस के राष्ट्रपति पुतिन को अपना मित्र बताया तो कभी यूक्रेन के समर्थन में बयान दिए। उनकी नीतियों में स्थिरता की कमी और अवसरवादी रुख ने उनकी विश्वसनीयता को कमजोर किया।

यह भी पढ़ें: जानिए कौन है मरिया मचाडो? जिसने तोड़ा ट्रंप का नोबेल जीतने का सपना, हमला करने की तैयारी में अमेरिका

अमेरिकी टैरिफ नीति का असर

ट्रंप के कार्यकाल में लागू की गई टैरिफ नीतियों ने वैश्विक अर्थव्यवस्था पर नकारात्मक असर डाला। खासकर भारत, बांग्लादेश और अफ्रीकी देशों में इसके कारण कारखानों में काम करने वाले लाखों लोगों की नौकरियां खतरे में पड़ीं। एक वैश्विक नेता से यह अपेक्षा की जाती है कि उसकी नीतियां न सिर्फ घरेलू, बल्कि अंतरराष्ट्रीय स्तर पर भी सकारात्मक प्रभाव डालें।

Why trump did not win nobel prize 5 reasons after gaza war ceasefire

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Published On: Oct 10, 2025 | 04:30 PM

Topics:  

  • Donald Trump
  • Nobel Prize
  • World News

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