कामचटका में सुनामी की चेतावनी जारी (फोटो- सोशल मीडिया)
New Tsunami Warning in Russia: रूस के कामचटका में पिछले हफ्ते 8.8 तीव्रता का भूकंप आया था। लेकिन अब यहां एक नया खतरा मंडरा रहा है। रविवार को रूस के इमरजेंसी डिपार्टमेंट दी की भूकंप के कारण कामचटका में मौजूद ज्वालामुखी 600 साल बाद पहली बार फटा है, आसमान में राख का विशाल गुबार नजर आ रहा है। इसके चलते तीन जिलों में सुनामी आने की आशंका जताई गई है।
रूसी सरकारी मीडिया के अनुसार, कामचटका के पास बुधवार को आए भूकंप का संबंध पास ज्वालामुखी विस्फोट से हो सकता है। इस भूकंप के बाद फ्रेंच पोलिनेशिया और चिली सहित कई क्षेत्रों में सुनामी की चेतावनी जारी की गई थी, जबकि सुनामी की लहरों ने जापान, रूस और अमेरिका के कुछ हिस्सों को प्रभावित किया।
भूकंप के बाद कमचटका क्षेत्र में क्ल्युचेव्स्कॉय ज्वालामुखी के विस्फोट से चिंता का माहौल बन गया है। रूस के आपातकालीन सेवा मंत्रालय ने इस विस्फोट के बाद ऑरेंज अलर्ट जारी किया है, जो विमानों के लिए बढ़े हुए खतरे को दर्शाता है, जिससे कई उड़ानें प्रभावित हो सकती हैं। हालांकि, यह क्षेत्र निर्जन है, लेकिन विस्फोट के खतरनाक रूप लेने से बड़े नुकसान की आशंका जताई जा रही है।
New video shows absolutely stunning footage of Krasheninnikov erupting after 600 years.
On August 2, 2025, it recorded its first-ever eruption, with ash soaring up to 5-6 km high. Scientists believe it may be linked to the recent M8.8 earthquake.
📍 Kamchatka, Russia. pic.twitter.com/1CKiSXbeRM
— Weather Monitor (@WeatherMonitors) August 3, 2025
रॉयटर्स के अनुसार, रूसी मंत्रालय ने अपने टेलीग्राम चैनल पर बताया कि “राख का बादल पूर्व दिशा में, प्रशांत महासागर की ओर बढ़ रहा है। इसके रास्ते में कोई भी आबादी वाला क्षेत्र नहीं है।” ज्वालामुखी विस्फोट से इलाके में रहने वाले लोगों में दहशत का माहौल है।
ये भी पढ़ें- ईरान-इजरायल के तनाव में आया नया मोड, खामेनेई ने सभी हवाई पाबंदियां हटाईं
पिछले बुधवार को रूस के कामचटका प्रायद्वीप में 8.8 तीव्रता का एक भयानक भूकंप आया था। विशेषज्ञों के अनुसार ये इतिहास में आया अब तक का आठवां सबसे बड़ा भूकंप था। इतना शाक्तिशाली था कि इसके चलते प्रशांत महासागर में सुनामी की लहरें उठीं और जापान से लेकर अमेरिका और चिली तक अफरा-तफरी मच गई। रूस के तटीय इलाकों में बाढ़ आ गई। जिसके चलते लाखों लोगों को उनके घरों से निकालकर सुरक्षित स्थानों पर स्थानांतरित किया गया। वैज्ञानिकों ने संभावित आफ्टरशॉक्स के बारे में चेतावनी दी है और लोगों से सतर्क रहने की अपील की है।