9/11 और 7/7 हमलों का फोटो (सो. सोशल मीडिया)
London: ब्रिटेन के मशहूर अखबार “द सन” ने एक हैरान कर देने वाली खबर छापी है। रिपोर्ट के मुताबिक, 9/11 के वर्ल्ड ट्रेड सेंटर हमले और लंदन की 7/7 बमबारी की साजिश में शामिल कुख्यात आतंकवादी हारून असवत को जल्द ही जेल से रिहा किया जा सकता है। यह खबर सामने आते ही ब्रिटेन के लोगों में गुस्सा और नाराजगी फैल गई है।
पुलिस और खुफिया एजेंसियों को इसकी रिहाई को लेकर गंभीर चिंता है, लेकिन कानूनी प्रक्रियाओं के चलते उसे छोड़े जाने की संभावना से देशभर में नाराजगी फैल गई है। इस खबर ने ब्रिटेनवासियों के मन में सुरक्षा को लेकर नए सवाल खड़े कर दिए हैं, साथ ही आतंकवाद के मामलों में सजा की प्रक्रिया पर भी बहस छिड़ गई है।
2022 में जारी एक रिपोर्ट के अनुसार, असवत मानसिक रूप से स्थिर होने के बावजूद इस्लामी उग्रवाद के प्रति अपना समर्थन जताता रहा है। अदालती दस्तावेजों में उसके बयान रखा गया था, जहां उसने अमेरिकी हिरासत में 9/11 और 2005 के लंदन हमलों की योजना बनाने की बात स्वीकार की थी। वर्तमान में, वह दक्षिण लंदन के बेतलेम रॉयल अस्पताल में मानसिक स्वास्थ्य अधिनियम के तहत रखा गया है, लेकिन डॉक्टरों का मत है कि वह “जल्द ही रिहा होने के योग्य हो सकता है”।
अमेरिकी अदालत के दस्तावेजों के मुताबिक, असवत ने 2017 में खुद को अल-कायदा से जुड़ा बताया था। उसने ओसामा बिन लादेन को अपना “कमांडर” कहा और धमकी दी थी कि “मैं तुम सबके सिर कलम कर दूंगा”। असवत ने यह भी साफ किया कि अगर लोग उसे आतंकवादी समझते हैं, तो वह इस पहचान से पीछे हटने वाला नहीं है।
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हारून असवत, जिसने 1999 में कट्टरपंथी उपदेशक अबू हमजा के साथ मिलकर अमेरिका में आतंकवादी प्रशिक्षण शिविर स्थापित किया था और 2005 के लंदन बम विस्फोटों के हमलावरों से भी जुड़ा था, उसने मानसिक स्वास्थ्य के आधार पर अमेरिका प्रत्यर्पण को 9 साल तक चुनौती दी। हालांकि, 2014 में उसे अमेरिका भेज दिया गया, जहां उसने आतंकवाद के आरोपों को स्वीकार किया। उसे मिली 20 साल की सजा को घटाकर 7 साल कर दिया गया, क्योंकि उसने ब्रॉडमूर अस्पताल में पहले से ही लंबा समय बिताया था।
अब सरकार ने उसकी निगरानी में ढील देते हुए फैसला किया है कि उसे “नोटिफिकेशन ऑर्डर” के तहत केवल अपना पता और यात्रा की जानकारी पुलिस को देनी होगी। उस पर न तो सख्त निगरानी रखी जाएगी और न ही उसे इलेक्ट्रॉनिक टैग लगाया जाएगा। सरकार के एक प्रवक्ता ने कहा कि राष्ट्रीय सुरक्षा हमारी सर्वोच्च प्राथमिकता है, और यदि कोई व्यक्ति खतरा पैदा करता है, तो पुलिस और खुफिया एजेंसियों के पास कार्रवाई करने के लिए आवश्यक अधिकार हैं हालांकि, सुरक्षा विशेषज्ञों ने चेतावनी दी है कि हारून असवत जैसे आतंकवादियों को बिना पूरी जोखिम जांच के रिहा करना एक गंभीर सुरक्षा जोखिम हो सकता है।