सांकेतिक तस्वीर
काठमांडू: एक विमान में अचानक तकनीकी खराबी के कारण काठमांडू अंतरराष्ट्रीय हवाई अड्डे पर इमरजेंसी लैंडिंग करानी पड़ी, जिसमें 12 भारतीय यात्री सवार थे। मिली जानकारी के अनुसार सभी यात्री सुरक्षित हैं। अधिकारियों ने बताया कि विमान की हाइड्रोलिक प्रणाली में खराबी आने के बाद हड़कंप मच गया था। जिसके बाद, विमान को काठमांडू अंतरराष्ट्रीय हवाई अड्डे पर आपातकालीन लैंडिंग कराने का निर्णय लिया गया।
पायलट ने बड़ी सूझबूझ के साथ इमरजेंसी लैंडिंग की, जिसमें 12 भारतीय यात्री भी सवार थे। एयरलाइन के एक अधिकारी के अनुसार, सीता एयर के विमान में तकनीकी खराबी आने के बाद उसे लुक्ला से रामेछाप की यात्रा के दौरान त्रिभुवन अंतरराष्ट्रीय हवाई अड्डे की दिशा में मोड़ दिया गया। विमान में 12 भारतीय, 2 नेपाली और 3 चालक दल के सदस्य सवार थे।
सभी यात्री सुरक्षित हैं। पायलट द्वारा सही समय पर सही निर्णय लेने की वजह से विमान को काठमांडू एयरपोर्ट पर सफलतापूर्वक लैंड किया गया। विमान के उतरने के बाद उसे ट्रैक्टर से पार्किंग एरिया में ले जाया गया। अधिकारी ने बताया कि विमान में हाइड्रोलिक प्रेशर में कमी का संकेत था। सभी यात्री और चालक दल पूरी तरह से सुरक्षित हैं।
दुबई से काठमांडू जा रही एक फ्लाइट की लखनऊ एयरपोर्ट पर इमरजेंसी लैंडिंग करानी पड़ी। उड़ान के दौरान पायलट को अचानक ईंधन की कमी का अलर्ट मिला, जिससे फ्लाइट में सवार 157 यात्रियों के बीच हलचल मच गई। पायलट ने तुरंत स्थिति को संभालते हुए लखनऊ एयर ट्रैफिक कंट्रोल से इमरजेंसी लैंडिंग की अनुमति मांगी। अनुमति मिलने के बाद फ्लाइट (एफजेड 1133) को सुबह 9:40 बजे लखनऊ एयरपोर्ट पर सुरक्षित लैंड कर लिया गया। इसके बाद फ्लाइट में ईंधन भरने के बाद लगभग 50 मिनट में यह काठमांडू के लिए फिर से उड़ान भर गई।
विदेश से जुड़ी अन्य सभी ख़बरों को पढ़ने के लिए यहां क्लिक करें
वहीं, लखनऊ एयरपोर्ट पर एक और घटना सामने आई, जिसमें भोपाल से दिल्ली के लिए लखनऊ होते हुए यात्रा कर रहे कुछ यात्रियों को कठिनाई का सामना करना पड़ा। दरअसल, इन यात्रियों का सामान लखनऊ एयरपोर्ट पर नहीं पहुंचा। जब यात्रियों ने बेल्ट पर अपना बैग नहीं देखा, तो उन्होंने एयरपोर्ट प्रशासन से शिकायत की। हालांकि, जब उन्हें संतोषजनक उत्तर नहीं मिला, तो कुछ यात्रियों ने एयरपोर्ट पर हंगामा करना शुरू कर दिया। उन्होंने आरोप लगाया कि एयरलाइन स्टाफ ने उनसे ठीक से बात नहीं की और उन्हें यह भी नहीं बताया गया कि उनका सामान कहां है और उन्हें कब तक मिलेगा।