ममता बनर्जी (फोटो-सोशल मीडिया)
West Bengal News: पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ने नवरात्र से दुर्गा पूजा कमेटियों के लिए बड़ा ऐलान किया है। कोलकाता में गुरुवार को दुर्गा पूजा आयोजकों के साथ एक समन्वय बैठक को संबोधित किया। इस दौरान उन्होंने राज्य की प्रत्येक दुर्गा पूजा समिति को 1 लाख 10 हज़ार रुपये अनुदान देने की घोषणा की।
एक विशाल जनसभा को संबोधित करते हुए ममता बनर्जी ने कहा, “पश्चिम बंगाल की प्रत्येक दुर्गा पूजा समिति को पश्चिम बंगाल सरकार की तरफ से 1 लाख 10 हज़ार रुपये का अनुदान मिलेगा। हम हर साल दुर्गा पूजा से पहले उचित समन्वय के लिए यह बैठक आयोजित करते हैं। उन्होंने अपने संबोधन के दौरान कहा कि नवरात्र में यातायात व्यवस्था, पेयजल, स्वास्थ्य सुविधाओं या बिजली में कोई कमी नहीं होगी।
ममता ने कहा कि दुर्गा पूजा में हर धर्म के लोग इसमें शामिल होते हैं, क्योंकि बंगाल की अपनी संस्कृति है। हम हर धर्म के सांस्कृतिक उत्सवों में भाग लेते हैं। दुर्गा पूजा यूनेस्को की मानवता की अमूर्त सांस्कृतिक विरासत की प्रतिनिधि सूची में अंकित है, इसलिए इसे उचित रूप से आयोजित करना हमारी ज़िम्मेदारी है। उन्होंने आगे कहा कि कुछ लोग आरोप लगाते हैं कि ममता बनर्जी दुर्गा पूजा के आयोजन की अनुमति नहीं देती हैं।
बनर्जी ने कहा यह आरोप लगाया जाता है कि मैं दुर्गा पूजा और सरस्वती पूजा की अनुमति नहीं देती, लेकिन सच्चाई यह है कि सरस्वती पूजा हर घर में होती है। यहां कोई भी त्योहार ऐसा नहीं है जो न मनाया जाता हो। क्लबों में 45,000 पूजाएं होती हैं, राज्य पुलिस क्षेत्र में यह संख्या 42,000 से ज़्यादा है, कोलकाता पुलिस क्षेत्र में यह लगभग 3,000 है।
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सीएम ने कहा कि मूर्ति विसर्जन 2, 3 और 4 अक्टूबर को होगा। मोबाइल पेट्रोलिंग टीम, त्वरित प्रतिक्रिया दल, ड्रोन, सीसीटीवी, सभी सुविधाएं उपलब्ध कराई जाएंगी। पुलिस नियंत्रण कक्ष 24 घंटे काम करेगा। भगदड़ जैसी स्थिति से बचा जाना चाहिए। पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ने पूजा समितियों के लिए बिजली बिलों में 80 प्रतिशत की छूट की घोषणा की।
उन्होंने कहा कि पूजा समितियों के लिए एनओसी संबंधी अनुमति के लिए एकल-खिड़की प्रणाली उपलब्ध है। दुर्गा पूजा का हिंदू त्योहार, जिसे दुर्गोत्सव या शरदोत्सव के नाम से भी जाना जाता है, हिंदू देवी दुर्गा के सम्मान और महिषासुर पर उनकी विजय के उपलक्ष्य में मनाया जाने वाला एक वार्षिक उत्सव है। हिंदू पौराणिक कथाओं के अनुसार, इस समय देवी अपने भक्तों को आशीर्वाद देने के लिए अपने पार्थिव निवास पर आती हैं।