Ram Killing Ravan (So. Pinterest)
Kese Kiya tha Ram ne Ravan ka Vadh: हिंदू धर्म में रामायण को अत्यंत पवित्र ग्रंथ माना जाता है। मान्यता है कि घर में रामायण रखने और इसका नियमित पाठ करने से सुख, शांति और समृद्धि का वास होता है। रामायण में भगवान श्रीराम के आदर्श जीवन के साथ-साथ कई ऐसी कथाएं भी हैं, जो आज भी लोगों को सोचने पर मजबूर कर देती हैं। इन्हीं में से एक कथा लंकापति रावण के वध से जुड़ी है। आमतौर पर माना जाता है कि भगवान राम ने एक बाण से रावण का अंत कर दिया, लेकिन धार्मिक मान्यताओं के अनुसार सच्चाई इससे कहीं अधिक गूढ़ है।
रामायण की कथा के अनुसार, रावण कोई साधारण असुर नहीं था। वह भगवान शिव का परम भक्त, महाज्ञानी और वेदों-पुराणों का प्रकांड विद्वान था। उसके पास अपार तपोबल और रहस्यमयी शक्तियां थीं, जिनका उपयोग उसने भगवान श्रीराम से युद्ध के दौरान किया। माता सीता का हरण करने जैसा घोर अपराध करने के बावजूद, रावण के भीतर कई दिव्य गुण मौजूद थे। यही कारण था कि उसका वध सामान्य तरीके से संभव नहीं था।
पौराणिक कथाओं में उल्लेख मिलता है कि रावण का वध किसी साधारण तीर से नहीं हुआ। कहा जाता है कि स्वयं यमराज ने एक विशेष बाण का निर्माण किया था, जिसे “मृत्यु बाण” कहा गया। यह बाण अजेय था और इससे बच पाना असंभव माना जाता था। लेकिन रावण ने अपनी चतुराई से उस मृत्यु बाण को चुरा लिया, ताकि वह मृत्यु से स्वयं को बचा सके। कथा के अनुसार, बाद में हनुमान जी ने अपनी बुद्धि और बल से लंका जाकर उस मृत्यु बाण को वापस प्राप्त किया और भगवान श्रीराम को सौंप दिया।
धार्मिक मान्यताओं के अनुसार, रावण के भीतर 32 गुण और 4 अवगुण विद्यमान थे। उसके 32 गुण उसे महान विद्वान और शक्तिशाली बनाते थे, लेकिन 4 अवगुण अहंकार, काम, क्रोध और लोभ उस पर हावी हो गए। इन्हीं अवगुणों के कारण उसने अधर्म का मार्ग चुना और माता सीता का हरण किया।
कथा के अनुसार, रावण का वध करने से पहले उसके गुणों का नाश आवश्यक था। इसलिए भगवान श्रीराम ने मृत्यु बाण चलाने से पूर्व 32 बाण चलाए, ताकि रावण के सभी गुण समाप्त हो जाएं। जब उसके भीतर केवल अवगुण शेष रह गए, तब भगवान राम ने मृत्यु बाण का प्रयोग कर उसका वध किया।
यह कथा केवल युद्ध की नहीं, बल्कि यह संदेश देती है कि जब गुणों पर अवगुण हावी हो जाते हैं, तब विनाश निश्चित हो जाता है। भगवान श्रीराम द्वारा चलाए गए 32 बाण धर्म, मर्यादा और न्याय के प्रतीक माने जाते हैं।
डिस्क्लेमर: यहां दी गई जानकारी धार्मिक ग्रंथों, सामाजिक मान्यताओं और पौराणिक कथाओं पर आधारित है।