मुंबई: बांग्लादेश 1972 से पहले पाकिस्तान का हिस्सा हुआ करता था और उसे पूर्वी पाकिस्तान नाम से लोग जानते थे। 1972 के युद्ध में पाकिस्तान से आजाद होकर बांग्लादेश एक स्वतंत्र राष्ट्र बन गया और उसके बाद से ही वहां पर बॉलीवुड फिल्मों पर बैन लगा हुआ है। करीब 50 साल बाद यह बैन पूरी तरह से हटाया गया, जिसका श्रेय शेख हसीना को जाता है। शाहरुख खान की फिल्म ‘पठान’ बैन के बाद रिलीज होने वाली पहली बॉलीवुड फिल्म बनी, लेकिन उससे पहले भी कुछ फिल्मों के लिए बैन को हटाया (सिमित समय के लिए) गया था, उनमें ‘3 इडियट्स’ और ‘माई नेम इज खान’ जैसी फिल्मों का नाम शामिल है। आइए जानते हैं बॉलीवुड फिल्मों को बांग्लादेश में रिलीज करने की हिमायती रही शेख हसीना ने बॉलीवुड की किस फिल्म पर बैन लगाया था।
फिल्म मेकर हंसल मेहता ने बांग्लादेश में आतंकवादी हमले पर आधारित एक फिल्म साल 2022 में बनाई थी। फिल्म का नाम था ‘फराज’, इस फिल्म को न सिर्फ बांग्लादेश में प्रतिबंधित किया गया, बल्कि फिल्म मेकर हंसल मेहता को धमकी भरे कॉल भी आने लगे। उन्हें कोर्ट कचहरी के चक्कर भी लगाने पड़े। वह बांग्लादेश के अदालतों में अब भी मुकदमे बाजी से जूझ रहे हैं। ऐसे में मेहता ने भी एक इंटरव्यू में तंज कसा है और शेख हसीना को तानाशाह नेता करार दिया है। हंसल मेहता ने यह भी कहा कि वह किसी भी प्रकार की आलोचना से डरने वाली शख्सियत हैं।
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हंसल मेहता ने साल 2016 में ढाका के एक बेकरी पर हुए आतंकी हमले पर आधारित फिल्म ‘फराज’ बनाई थी और इस फिल्म को बांग्लादेश में प्रदर्शित होने नहीं दिया गया। दरअसल इसके पीछे का कारण यह था कि वहां की लोकल बॉडी का यह मानना था इससे दंगे भड़क सकते हैं और लोगों की भावनाएं आहत हो सकती हैं, जबकि कहीं ना कहीं फिल्म को बैन करने के पीछे सरकार का हाथ था।
आपको बता दें कि बांग्लादेश में छात्रों के उग्र प्रदर्शन के बाद बांग्लादेश के पूर्व प्रधानमंत्री शेख हसीना ने अपने पद से इस्तीफा दिया और देश छोड़कर भारत की शरण में आ पहुंची है। दरअसल छात्र आरक्षण को लेकर बीते महीने से आंदोलन कर रहे थे। छात्रों की मांग थी कि 1972 की लड़ाई में हिस्सा लेने वाले जवानों के परिजनों को सरकारी नौकरियों में मिल रहा 30% आरक्षण रद्द किया जाए।