डिप्टी सीएम अजित पवार व नीलेश घायवाल
MCOCA Imposed On Ghaywal Brothers: पुणे के कुख्यात घायवाल बंधु नीलेश व सचिन को कोथरूड के एक बिल्डर को धमकाने और 11 फ्लैटों पर जबरन कब्जा करने के मामले का दोषी पाया गया है। इसके बाद पुलिस ने दोनों पर ‘मकोका’ लगा दिया है। अब उनके पुलिस पासपोर्ट रद्द करने की मांग को लेकर अदालत जाएगी।
हाल ही में सचिन घायवाल को कथित रूप से आर्म्स लाइसेंस की अनुमति देने के मामले में गृह राज्य मंत्री योगेश कदम पर सवाल उठाए गए थे।
विपक्ष का आरोप है कि घायवाल बंधुओं को राजनीतिक संरक्षण प्राप्त है। शरद पवार गुट के विधायक रोहित पवार ने दावा किया है कि नीलेश के संबंध बीजेपी व शिंदे गुट के नेताओं से हैं। इस वजह से सियासत गरमा गई है।
पुणे के पालकमंत्री व डिप्टी सीएम अजित पवार ने कहा कि नीलेश घायवाल मामले में मैंने खुद पुलिस कमिश्नर से कहा है कि अगर किसी भी पार्टी का कोई भी व्यक्ति सिफारिश लेकर आता है तो उसके खिलाफ कार्रवाई करें। शहर की कानून-व्यवस्था बनाए रखने की जिम्मेदारी पुलिस की है और मैं इसमें किसी का हस्तक्षेप बर्दाश्त नहीं करूंगा।
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अजित पवार ने कहा कि मैंने पूर्ण पुलिस को भगोड़े गैंगस्टर नीलेश घायवाल द्वारा अवैध रूप से पासपोर्ट हासिल करने के मामले में कड़ी कार्रवाई करने का निर्देश दिया है। हत्या और वसूली समेत कई मामलों में वांटेड घायवाल के विदेश भाग जाने का संदेह है, जिसके कारण विपक्ष ने सरकार पर निशाना साधा है।
मुख्यमंत्री देवेंद्र फडणवीस ने शुक्रवार को कहा था कि गैंगस्टर नीलेश घायवाल के भाई सचिन घायवाल को हथियार का लाइसेंस जारी नहीं किया गया, जिसके बाद सपकाल ने सरकार की यह आलोचना की।
ऐसा माना जा रहा है कि रोड रेज से जुड़ी गोलीबारी की एक घटना की पुणे पुलिस द्वारा की जा रही जांच के बीच सचिन घायवाल देश छोड़कर भाग गया है।